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यहां एक चूक ले लेती है जान, संजीवनी बूटी लाते समय यहां रुके थे हनुमान

समाचार फर्स्ट |

धर्मशाला का मैकलॉडगंज हिमाचल का एक छोटा सा कस्बा है। इसे लिटिल ल्हासा भी कहते हैं। वजह है, यहां बसे तिब्बती माइग्रेंट्स जो करीब 50 साल पहले यहां आ गए थे। ये जगह धौलाधार पहाड़ियों से घिरी है। मैकलॉडगंज के धौलाधार पर्वत शृंखला में सबसे ऊंची चोटी है हनुमान टिब्बा। ये चोटी चारों ओर से ग्लेशियर से घिरी है।

प्राचीन मान्यताओं के अनुसार, संजीवनी बूटी लाते समय हनुमान इसी चोटी पर रुके थे, जिस कारण इसका नाम हनुमान जी का टिब्बा पड़ा। बताया जाता है कि इस चोटी तक पहुंचना किसी खतरे से खाली नहीं है। यहां हजारों लोग हर साल ट्रैकिंग के लिए आते हैं। ठंड और खतरनाक रास्तों का सामना करते हुए कई लोगों की यहां मौत भी हो चुकी है। हालांकि, ट्रैकिंग के नियमों को फॉलो कर ऐसे हादसों से बचा जा सकता है ।