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अविश्वास प्रस्ताव: टीडीपी ने कहा- मोदी सरकार ने आंध्र प्रदेश के साथ किया बुंदेलखंड जैसा भेदभाव , कांग्रेस ने मांगे दो दिन

समाचार फर्स्ट डेस्क |

मोदी सरकार के खिलाफ संसद में आज अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा हो रही है और चर्चा के बाद वोटिंग होगी। सरकार की ओर से जीत का दावा किया जा रहा है तो वहीं विपक्ष का भरोसा है कि अविश्वास प्रस्ताव के जरिए सरकार को संसद में बेनकाब करने का मौका मिलेगा।अविश्वास प्रस्ताव में सभी पार्टियों के बोलने का समय तय कर दिया गया है। संख्या के हिसाब से पार्टियों के समय तय हुए हैं। बीजेपी को सबसे ज्यादा 3 घंटे और 33 मिनट बोलने का समय मिला जबकि कांग्रेस को 38 मिनट का समय दिया गया है।

अविश्वास प्रस्ताव से पहले कांग्रेस और विपक्ष के अन्य सदस्यों ने इस बात पर आपत्ति जताई कि उन्हें इस मुद्दे पर बोलने का कम समय दिया गया है। कांग्रेस इस बात से भी असहमत थी कि अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा के लिए महज एक दिन तय किया गया है। लेकिन सरकार की ओर से संसदीय कार्यमंत्री अनंत कुमार ने कहा कि विपक्ष वनडे के जमाने में पांच दिन का टेस्ट खेलना चाहता है। वहीं स्पीकर ने भी विपक्ष की आपत्ति ये कहते हुए खारिज कर दी कि अनंत बहस नहीं चल सकती, अनंत और अनादि केवल भगवान होता है।

इस बीच बिहार के मुख्यमंत्री और जेडीयू के अध्यक्ष नीतीश कुमार ने कहा है कि अविश्वास प्रस्ताव पर जेडीयू मोदी सरकार के साथ है. आपको बता दें कि नीतीश भी बिहार को स्पेशल राज्य के दर्जे की मांग करते रहे हैं।

अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा में टीडीपी ने कहा- मोदी सरकार ने आंध्र प्रदेश का वादा पूरा नहीं किया

 टीडीपी के जयदेव गल्ला ने विश्वास प्रस्ताव पर बोलना शुरू कर। जयदेव गल्ला टीडीपी के बड़े नेता हैं। टीडीपी के लोकसभा में 16 सांसद हैं। उन्होंने कहा है कि मोदी सरकार ने आंध्र प्रदेश का वादा पूरा नहीं किया है। उन्होंने आंध्र प्रदेश के साथ भेदभाव किया है।

आंध्र प्रदेश के लिए जो परियोजनाओं लाने की बात की गई थी, उसके लिए भी सरकार ने कोई दिशा-निर्देश नहीं दिए हैं। सराकर अपने सभी वादे भूल गई है- टीडीपी

अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा के लिए टीडीपी को सिर्फ 13 मिनट का वक्त दिया गया था, लेकिन टीडीपी के गल्ला करीब 45 मिनट से बोल रहे हैं। इसको लेकर सदन में मौजूद कुछ पार्टियां विरोध कर रही हैं।

आंध्र प्रदेश के साथ बुंदेलखंड से भी ज्यादा भेदभाव किया गया है। आंध्र को संसाधन नहीं दिए गए जिनकी जरुरत राज्य की जनता को थी- गल्ला

आंध्र प्रदेश को विशेष पैकेज का आज भी इंतजार है। आंध्र को विशेष राज्य के दर्जे का दावा मोदी सरकार भूल गई है। आंध्र प्रदेश को बजट में भी एक भी पैसा नहीं दिया गया- गल्ला

 गल्ला ने कहा है कि आंध्र प्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा दिया जाए

टीडीपी ने कहा कि कई वजहों से मोदी सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाया गया है। इसमें भेदभाव, विश्वास की कमी, प्राथमिकता की कमी जैसी कई वजह शामिल हैं। उन्होंन कहा है कि वादों को पूरा नहीं करना हमारे लिए भावनात्मक मुद्दा है।

 टीडीपी का कहना है कि राज्य बंटवारे के बाद आंध्र प्रदेश का आर्थिक नुकसान हुआ है. केंद्र सरकार ने आंध्र प्रदेश की कोई मदद नहीं की।आंध्र प्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा भी नहीं दिया गया।

 टीडीपी ने कहा है कि मोदी सरकार के कारण चुनौतियां पैदा हुई हैं,सरकार ने हमारे साथ अन्याय किया है।आंध्र प्रदेश पर लोन थोप दिया गया है जिस कारण आंध्र प्रदेश बहुत मुश्किल में है। टीडीपी के भाषण के बीच टीआरएस के सांसद हंगामा कर रहे हैं।

बीजू जनता दल ने भी विश्वास प्रस्ताव पर चर्चा और वोटिंग का बहिष्कार कर दिया है

 कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने सदन में चर्चा के लिए समय देने पर सवाल खड़े किए हैं. उन्होंने कहा है कि कांग्रेस को बोलने के लिए कम समय दिया गया है। बता दें कि अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा शाम 6 बजे तक चलेगी।

 लोकसभा की कार्यवाही शुरू हो गई है. कुछ ही देर में अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा शुरू हो जाएगी। सदन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी मौजूद हैं।

शिवसेना ने अविश्वास प्रस्ताव पर वोटिंग का बहिष्कार कर दिया है। शिवसेना ने कहा है कि सरकार ने साल 2014 में जनता से जो वादे किए तो उसे अबतक पूरा नहीं किया है। इसलिए हमने इसका बहिष्कार करने का फैसला किया है। शिवसेना के लोकसभा में 18 सांसद हैं।

 कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा है कि सरकार को विपक्ष को बोलने नहीं देना चाहती है। उन्होंने कहा है कि विपक्ष को बोलने के लिए कम समय दिया गया है।

 शिवसेना संसदीय दल की बैठक शुरू हो गई है। बैठक में अविश्वास प्रस्ताव पर वोट का रुख तय होना है। इस बैठक में आनंद राव अदसूल, अनिल देसाई, अरविंद सावंत समेत कई अन्य सांसद मौजूद हैं।

संसदीय मंत्री अनंत कुमार ने कहा है, ''जैसा कि राहुल गांधी जी ने कहा था कि भूकंप आएगा तो भूकंप जरूर आएगा, लेकिन वह कांग्रेस में आएगा। एनडीए सरकार को उम्मीद से ज्यादा समर्थन मिलेगा''