अब तक स्वतंत्रता दिवस के दिन यानि 15 अगस्त को ही प्रधानमंत्री लालकिले पर ध्वजारोहण करते रहे हैं। ऐसा पहली बार हुआ है जब 21 अक्टूबर को भी लाल किले से प्रधानमंत्री ने तिरंगा फहराया। सुभाष चंद्र बोस के नेतृत्व वाली 'आजाद हिंद सरकार' की स्थापना के 75 साल पूरे होने पर लाल किले में एक विशेष समारोह आयोजित किया गया और ध्वजारोहण किया गया।
आपको बता दें कि 21 अक्टूबर 1943 को नेताजी सुभाष चंद्र बोस ने सिंगापुर में प्रांतीय आजाद हिंद सरकार की स्थापना की थी। इस ऐतिहासिक कार्यक्रम के दौरान संस्कृति मंत्री महेश शर्मा और आजाद हिंद फौज के सिपाही लाती राम और सुभाष चंद्र बोस के परिवार के सदस्य भी शामिल हुए।
प्रधानमंत्री मोदी ने इस मौके पर अपने संबोधन में कहा, "आज मैं उन माता पिता को नमन करता हूं जिन्होंने नेता जी सुभाष चंद्र बोस जैसा सपूत देश को दिया। मैं नतमस्तक हूं उस सैनिकों और परिवारों के आगे जिन्होंने स्वतंत्रता की लड़ाई में खुद को न्योछावर कर दिया।"
पीएम मोदी ने कहा कि आजाद हिन्द सरकार सिर्फ नाम नहीं था, बल्कि नेताजी के नेतृत्व में इस सरकार द्वारा हर क्षेत्र से जुड़ी योजनाएं बनाई गई थीं। इस सरकार का अपना बैंक था, अपनी मुद्रा थी, अपना डाक टिकट था, अपना गुप्तचर तंत्र था। नेताजी का एक ही उद्देश्य था, एक ही मिशन था भारत की आजादी। यही उनकी विचारधारा थी और यही उनका कर्मक्षेत्र था।