शिमला में राजकीय प्राथमिक सहायक संघ (पैट) ने अपनी नियमितीकरण की मांग को लेकर शिमला सचिवालय के बाहर हल्ला बोला और सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। राजकीय प्राथमिक सहायक संघ के अध्यक्ष नारायण हिमराल ने बताया कि सरकार ने पैट शिक्षकों से नियमितीकरण का वादा किया था, लेकिन अब अपने वादे से मुकर गई है। पैट शिक्षक सभी जरूरी योग्यताएं पूरी करते हैं, इसके बावजूद इसके उनके साथ सौतेला व्यवहार किया जा रहा है।
संघ के अध्यक्ष ने कहा कि 2003 से 2007 तक कांग्रेस कार्यकाल के दौरान ही प्रदेश में 3400 पैट शिक्षक भर्ती किए गए थे, लेकिन 14 वर्ष बाद भी ये नियामितिकरण की राह ताक रहे हैं। सरकार ने नियामितिकरण का झांसा देकर वेतन फिक्स कर पैट शिक्षकों के साथ धोखा किया है। प्रदेश सरकार ने वर्ष 2016 में पैट शिक्षकों को नियमित करने की घोषणा की थी।
सरकार ने पैट शिक्षकों को JBT का पुराना स्केल ही दिया
पैट शिक्षकों को आस थी कि उन्हें JBT की तर्ज पर नया स्केल दिया जाएगा, लेकिन सरकार ने पैट शिक्षकों को JBT का पुराना स्केल ही दिया। सरकार ने पैट शिक्षकों को पुराने पे स्केल के तहत बेसिक पे 5,910, 3,000 ग्रेड-पे और बीते 1 अप्रैल से 130 प्रतिशत डीए के तहत यह वेतन फिक्स किया। इस दौरान शिक्षकों के वेतन में दूसरे भत्ते भी शामिल नहीं किए गए हैं। जबकि, नए स्केल के तहत शिक्षकों को 10,300 बेसिक पे, 4,500 ग्रेड-पे और बीते 1 अप्रैल से 130 प्रतिशत डीए के तहत वेतन दिया जाना चाहिए था। इस नए स्केल के तहत शिक्षकों का वेतन 30,000 से अधिक बनता था, लेकिन इस दौरान सरकार ने इन्हें 21,500 पर ही फिक्स कर दिया। उन्होंने प्रदेश सरकार से उनकी मांगें जल्द पूरी करने की मांग की है।