IPL स्पॉट फिक्सिंग मामले में आजीवन प्रतिबंध झेल रहे क्रिकेटर एस. श्रीसंत को बड़ी राहत देते हुए सुप्रीम कोर्ट ने उन पर लगा बैन हटा दिया है। साथ ही कोर्ट ने BCCI की अनुशासनात्मक समिति से कहा कि वो तीन महीने के भीतर श्रीसंत को दी जाने वाली सजा की अवधि को लेकर पुनर्विचार भी करे। इससे पहले साल 2015 में निचली अदालत ने श्रीसंत को कथित स्पॉट फिक्सिंग के आपराधिक मामले से बरी कर दिया था। हालांकि, अक्टूबर 2017 में केरल हाई कोर्ट ने श्रीसंत पर लगाए गए आजीवन प्रतिबंध को फिर से बहाल कर दिया
न्यायमूर्ति अशोक भूषण की अध्यक्षता वाली खंडपीठ ने आजीवन प्रतिबंध को सही ठहराने के केरल हाई कोर्ट के निर्णय को चुनौती देने वाली श्रीसंत की अपील पर यह आदेश दिया। कोर्ट ने हालांकि स्पष्ट किया कि उसके इस आदेश से श्रीसंत के खिलाफ दिल्ली हाई कोर्ट में लंबित आपराधिक मामले की सुनवाई प्रभावित नहीं होगी।
गौरतलब है कि दिल्ली पुलिस ने निचली अदालत की ओर से श्रीसंत एवं अन्य को आरोप मुक्त किए जाने को हाई कोर्ट में चुनौती दे रखी है। यह 2013 के इंडियन प्रीमियर लीग में कथित तौर पर स्पॉट फिक्सिंग करने से जुड़ा मामला है। श्रीसंत की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता एवं पूर्व कानून मंत्री सलमान खुर्शीद ने जिरह की। पिछली सुनवाई को श्रीसंत की ओर से दलील दी गई थी कि बुकी ने उसे स्पॉट फिक्सिंग के लिए अपने झांसे में लेने का प्रयास किया था, लेकिन वह इसमें शामिल नहीं हुआ।