सरकार द्वारा एक तो हर सामान प्रिंट रेट पर बेचने की ढिंढोरा पीता जा रहा है वहीं दूसरी तरफ उपमंडल जयसिंहपुर में जनता से प्रिंट रेट से ज्यादा मनमाने दाम वसूल किए जा रहे हैं। रोजमर्रा के सामान दूध दहीं के दाम ही प्रिंट रेट से 2 से 3 रुपए तक ज्यादा वसूल कर दुकानदारों द्वारा चांदी कूटी जा रही है लेकिन मामला विभाग के संज्ञान में होने के बावजूद विभाग मूकदर्शक बनकर जनता को लूटते हुए देख रहा है। या कह लें कि जयसिंहपुर क्षेत्र में इन लोगों पर नकेल कसने के लिए विभाग ने अधिकारी कर्मचारी ही नियुक्त नहीं किये हैं या शायद ये लोग जयसिंहपुर क्षेत्र का दौरा करना अपनी शान के खिलाफ समझते हैं।
दूसरी तरफ जयसिंहपुर क्षेत्र में शराब के ठेकों में 30 से 40 प्रतिशत दाम प्रिंट रेट से अधिक वसूल किए जा रहे हैं। जिस कारण शराब के शौकीन ग्राहकों को ख़ासी परेशानी का सामना करना पड़ा रहा है जब ग्राहक MRP रेट के हिसाब से पैसे देने की बात करते हैं तो सेल्समेन उनसे बहसबाज़ी और गाली गलौच करने पर उतारू हो जाते हैं।
दरअसल मामला जयसिंहपुर के उप्पर लंबागांव का है जहां शराब के ठेके पर सेल्समेन औऱ ग्राहक के बीच MRP को लेकर बहस बाजी हो गई। इसमें ग्राहक हरदीप द्वारा MRP रेट के हिसाब से शराब के दाम देने की बात करने पर सेल्समेन ने अपनी रेट लिस्ट के हिसाब से ही दाम लेने की बात की और सेल्समेन ग्राहक को खरी खोटी सुनाते हुए अभद्र भाषा का प्रयोग किया और औकात में रहने और बाद में देख लेने की बात करने लगा और तो और अपने पूरे आत्मविश्वास के साथ जहां मर्जी जाओ जो भी करना है कर लो तक कह दिया जैसे उसके लिए कानून नाम की कोई चीज़ ही नहीं है।
जयसिंहपुर क्षेत्र में ऐसे कई मामले सामने आ चुके हैं जहां लोग सामने नहीं आना चाहते और शर्म लाज के चलते ऐसे लोगों के हाथों लुटने के लिए मजबूर हो जाते हैं और जो कोई आवाज़ उठाता है उसे दबाने के लिए बाद में देख लेने की धमकियां तक दी जाती हैं। जब इस बारे ठेकेदार राणा से बात की गई तो उन्होंने मामले की अनभिज्ञता जताते हुए कहा कि मामले की उन्हें जानकारी नहीं है और प्रिंट रेट से ज्यादा दाम पर शराब बिकने के बारे में सेल्समेन से पूछताछ करने की बात की।