कुल्लू जिले में इस बार के लोकसभा चुनाव में अधिक से अधिक मतदान हो, इसके लिए जिला निर्वाचन अधिकारी यूनुस कोई कोर-कसर नहीं छोड़ना चाहते। इसका जीवंत उदाहरण सोमवार को बजांर विधानसभा क्षेत्र के सैंज मेले के दौरान देखने को मिला। जहां बंजार क्षेत्र की लगभग 2200 महिलाओं ने रंग-विरंगी स्थानीय पोशाक में सुसज्जित होकर मैगा नाटी का प्रदर्शन किया। लोकसभा चुनाव के दृष्टिगत जिला और उपमण्डल स्तर पर गठित स्वीप टीम के सहयोग से मैगा नाटी का आयोजन किया गया। ढोल की थाप पर नाटी की गूंज मानो समूचे बंजार क्षेत्र में सुनाई दी। महिलाओं ने अपने हाथों में मतदाता फोटो पहचान पत्र लिए थे। लक्ष्मी नारायण देवता के सम्मान में आयोजित किए जाने वाले बंजार घाटी के प्रसिद्व जिला स्तरीय सैंज मेले की अध्यक्षता उपायुक्त यूनुस ने की।
उन्होंने इस अवसर पर बड़ी तादाद में हर आयुवर्ग की महिलाओं को मतदान का महत्व बताया और आगामी लोकसभा चुनाव में अपने-अपने घर-परिवार से सौ फीसदी मतदाता सदस्यों का वोट सुनिश्चित करवाने का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि लोकतंत्र को मजबूत करने के लिए आवश्यक है कि चुनाव जैसे महापर्व में प्रत्येक नागरिक अपने मतदान के रूप में आहूति डाले। यह हमारा दायित्व भी है और समाज के प्रति योगदान भी। उन्होंने कहा कि लोगों की देवी-देवताओं पर अपार श्रद्धा है और हमारी इतनी ही आस्था अपने लोकतंत्र में भी होनी चाहिए। महिलाओं के इस शो का उद्देश्य जिला विशेषकर बंजार विधानसभा क्षेत्र में घर-घर तक मतदान के महत्व तथा 19 मई को आवश्यक रूप से मतदान करने का संदेश पहुंचाना था।
संदेश का असर बखूबी दिखा भी, जब आधी आबादी ने एक सुनियोजित और सुव्यवस्थित तरीके से जिले के प्रसिद्ध वाद्य यंत्रों की धुन और मतदान पर स्थानीय बोली में तैयार किए गए गीत पर एक साथ नाटी गायन पर गुनगुनाते मधुर स्वरों में झूम-झूम कर नृत्य किया। मन में मतदान करने की सोच तथा दूसरों को भी प्रेरित करने की ठान कर आई ये महिलाएं मानो देश के लोकतंत्र की मजबूती के लिए कुछ भी कर गुजरने को तत्पर हैं। बंजार विधानसभा क्षेत्र के कोने-कोने से महिलाओं ने पूरे उल्लास और खुले मन के साथ मैगा शो में भाग लिया।
यूनुस ने कहा कि महिला सशक्तिकरण को बढ़ावा देना भी नाटी का उद्देश्य था। महिलाओं का विभिन्न भागों से एकत्र होना और परस्पर मेल-जोल उनमें सौहार्द और सद्भाव को मजबूत करता है, वहीं मनोबल को भी बढ़ाता है। सशक्त नारी लोकतंत्र की मजबूती की स्तम्भ बनती हैं। उन्होंने कहा कि नारी का घर-परिवार में बेहद प्रभावशाली वर्चस्व है और ऐसे में उनका संदेश भी सर्वमान्य हाना स्वाभाविक है।