हिमाचल प्रदेश क्रिकेट एसोसिएशन (एचपीसीए) के प्रवक्ता संजय शर्मा ने कहा कि बीसीसीआई और एचपीसीए के नियमों के विपरीत जाली दस्तावेज पेश करने वाले प्रदेश के आठ खिलाडिय़ों पर दो वर्ष का प्रतिबंध लगाया गया है। ये खिलाड़ी दो साल तक देश की किसी भी क्रिकेट एसोसिएशन की ओर से नहीं खेल पाएंगे।
अब जब खिलाडिय़ों का पंजीकरण नवीनीकरण हो रहा था तो उनकी धोखाधड़ी सामने आई। जाली आयु प्रमाणपत्र जमा करवाने वाले खिलाडिय़ों में दो मंडी के हैं। इसके अलावा दो बिलासपुर, दो कुल्लू, एक चंबा और एक ऊना का है। हालांकि ये खिलाड़ी एचपीसीए की डे अकादमी के खिलाड़ी नहीं थे। लेकिन, एचपीसीए के जिलास्तरीय टूर्नामेंट में सभी खिलाड़ी अपने जिलों का प्रतिनिधित्व करते थे।
अब ये खिलाड़ी 2020 तक किसी भी प्रतियोगिता में भाग नहीं ले सकेंगे। वहीं, एचपीसीए प्रशासन इस बात की जांच भी कर रहा है कि इनमें से कोई खिलाड़ी भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड में पंजीकृत तो नहीं है। अगर पंजीकृत पाए जाते हैं तो मामले की रिपोर्ट बीसीसीआइ को भेजकर उन्हें बीसीसीआइ से भी दो साल के लिए प्रतिबंधित किया जाएगा।
कैसे किया खिलाड़ियों ने फर्जीवाड़ा
आयु प्रमाण पत्र में खिलाडियों ने उम्र की जगह कागज की चिप लगाकर अपनी मर्जी के हिसाब से आयु लिखकर प्रमाण पत्र स्कैन करवा लिया और उसकी फोटो कॉपी निकालकर एचपीसीए को दे दी।