सत्रहवीं लोकसभा का पहला सत्र सोमवार से शुरू होगा। सत्र से एक दिन पहले रविवार को सरकार ने सर्वदलीय बैठक बुला कर तीन तलाक सहित कई अहम बिलों पर विपक्ष का सहयोग मांगा। गौरतलब है कि इस सत्र में पहले दो दिन नव निर्वाचित सांसदों को शपथ दिलाई जाएगी। बुधवार को नए लोकसभा अध्यक्ष का चयन होगा। राष्ट्रपति बृहस्पतिवार को दोनों सदनों के संयुक्त बैठक को संबोधित करेंगे। निर्मला सीतारमण बतौर वित्त मंत्री 5 जुलाई को आम बजट पेश करेंगी।
अगले महीने की 26 तारीख तक चलने वाले इस सत्र में सरकार तीन तलाक, केंद्रीय शैक्षणिक संस्थान (शिक्षक संवर्ग में आरक्षण), नागरिकता संशोधन जैसे कई अहम बिल पेश करेगी। इनमें तीन तलाक बिल पर पुराने स्टैंड पर अड़ी सरकार की कोशिश दूसरे कार्यकाल में इसे कानूनी जामा पहनाने की होगी। हालांकि सरकार की सहयोगी जदयू ने इस बिल का समर्थन न करने की घोषणा की है। जबकि अन्य विपक्षी दलों ने इस बिल पर अपना रुख साफ नहीं किया है।
कमजोर मनोबल वाला विपक्ष
नई लोकसभा में प्रचंड बहुमत हासिल करने के कारण राजग में जहां भारी आत्मविश्वास है, वहीं विपक्ष का मनोबल टूटा हुआ है। इसका अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि सत्र से एक दिन पहले तक कांग्रेस लोकसभा में अपने संसदीय दल का नेता तक नहीं चुन पाई है। राजद जैसे कई दल अपना एक भी उम्मीदवार नहीं जिता पाए हैं। जबकि कांग्रेस तमाम कोशिशों के बावजूद इस बार भी नेता प्रतिपक्ष के लिए जरूरी 55 सदस्यों का आंकड़ा हासिल नहीं कर पाई है।
आम बजट पर सबकी निगाहें
अहम बिलों के अलावा देश भर की निगाहें 5 जुलाई को पेश होने जा रहे आम बजट पर है। अंतरिम बजट में मोदी सरकार ने 5 लाख की आय को आय कर से छूट तो दी थी, मगर इसे स्लैब में शामिल नहीं किया था। ऐसे में सबकी दिलचस्पी यह जानने में है कि क्या वित्त मंत्री इस छूट को स्लैब में शामिल करेंगे या मध्य वर्ग को राहत देने के लिए आयकर छूट की सीमा में बढ़ोत्तरी करेंगी।
सर्वदलीय बैठक में सरकार ने मांगा साथ
संसदीय कार्य मंत्री द्वारा आयोजित सर्वदलीय बैठक में पीएम ने अहम बिलों और विकास के मुद्दे पर विपक्ष का सहयोग मांगा। उन्होंने सदन को सुचारू रूप से चलाने में मदद मांगी और हर मुद्दे पर चर्चा कराने का आश्वासन दिया।