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महाऋषि मार्कंडेय की तपोभूमि में हो रही बंदरों की मौत, मृत बंदरों से चल रही दुर्गन्ध

सुनिल ठाकुर, बिलासपुर |

उतरी भारत के सुप्रसिद्ध धार्मिक तीर्थ स्थल एवं महाऋषि मार्कंडेय की तपोभूमि मार्कंडेय में आजकल बंदरों की एक के बाद एक मौत होती जा रही है। पिछले करीब चार दिनों में लगभग 40 बन्दरों की मौत हो चुकी है।  आलम यह है कि मार्कंडेय के चारों तरफ मृत पड़े बन्दर देखने को मिल रहे हैं जिनमें अब दुर्गन्ध पड़ना शुरू हो गई है। हिन्दुओं के पवित्र स्थल महाऋषि मार्कंडेय में इतने बंदरो की मृत्यु होना बहुत गंभीर विषय है। मार्कंड में चाहे खेत हो या रास्ते या पहाड़ी हर तरफ मृत बंदर देखने को मिल रहे हैं।  अनुमान लगाया जा रहा है कि किसी व्यक्ति ने इन बंदरो को खाने की वस्तु में जहर दे दिया है। जिसको खाकर इन बंदरों की मृत्यु हो रही है।

मृत पड़े बंदरों को कोई भी वहा से उठा कर दबा नहीं रहा है जिस वजह से हर तरफ दुर्गन्ध फैली हुई है। इस दुर्गन्ध से रोजाना यहां पर आने वाले हजारो श्रधालुओं को भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। अगर शीघ्र इन बंदरो को दबाया नही गया तो इस की वजह से यहां पर कोई महामारी फ़ैल सकती है।

गौरतलब है कि महाऋषि मार्कंडेय उतरी भारत का सुप्रसिद्ध धार्मिक तीर्थस्थल एवं महाऋषि मार्कंडेय की तपोभूमि है।  इसी स्थान पर महाऋषि मार्कंडेय को भोले बाबा ने स्वयं प्रकट होकर अमरत्व का वरदान दिया था जिस वजह से इस स्थान पर रोजाना हजारों की मात्रा में श्रद्धालु यहां आते हैं और इस स्थान पर महाऋषि मार्कंडेय का पवित्र स्नान करके महाऋषि मार्कंडेय मंदिर में पूजा अर्चना करते हैं।

जब इस संदर्भ में हमने बिलासपुर सदर के एसडीएम नरेंद्र आहुवालिया से संपर्क किया तो उन्होंने कहा कि इस बारे में उन्हें कोई जानकारी नहीं है और न ही इस प्रकार की कोई शिकायत उनके पास आई है। 

उन्होंने इस पर कड़ा संज्ञान लेते हुए बताया कि इस बारे में वह वन मंडल अधिकारी को सूचित कर इस मामले की जांच करने के आदेश कर रहे हैं। वन मंडल अधिकारी मार्कंडेय में जाकर जांच करेंगे की इन बंदरों की मौत कैसे हुई है और मृत पड़े बंदरो को भी वह वहां जाकर दफनाएंगे ताकि इस पवित्र स्थल पर फैली दुर्गन्ध से लोगों और श्रधालुओं को राहत मिल सके।