हिमाचल कांग्रेस प्रभारी रजनी पाटिल ने शिमला में हुई शाह की रैली को पॉलिटिकल टूरिज्म का हिस्सा करार दिया है। रजनी पाटिल ने कहा कि प्रदेश की जनता को अपनी उपलब्धियां बताने और गिनाने की बजाय बीजेपी के चीफ एवं केन्द्रीय गृह मंत्री और अन्य सांसद खुद को ही महिमामंडित करते रहे। कल तक जो एक-दूसरे की परछाई को पीटते थे उन्होंने सरकार के दम पर हुई इस रैली में किसी को बड़ा भाई तो किसी को छोटा भाई करार दिया तो अमित शाह ने मुख्यमंत्री जयराम को मणीकंचन योग का कारक बता कर एक-दूसरे की शान में कसीदे पढ़ दिए।
पाटिल ने कहा कि दो साल की उपलब्धियों में सिर्फ बीजेपी ने अंधा बांटे रेवड़ी फिर-फिर अपने को दे की तर्ज पर एक दूसरे को महिमामंडित करने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ी। लेकिन इस रैली से प्रदेश की जनता को कुछ भी हासिल नहीं हुआ। सरकारी योजनाओं के लाभार्थियों की भीड़ को दिखाकर सरकार अपने मुंहमिठृ बनती रही। जबकि प्रदेश के जिला मुख्यालयों पर लाखों रुपए खर्च करके शाह की रैली की सीधी कवरेज दिखाने वाली बड़ी एलईडी स्क्रीनों को आम जनता ने पूरी तरह नजरअंदाज किया। शाह, सांसदों और मुख्यमंत्री की उपलब्धियों के आंकड़े ही एक दूसरे को झूठलाते रहे। किसी ने कुछ कहा, तो किसी ने कुछ कहा तो कोई मजबूरी में क दूसरे की जयजयकार करके झूठी एकता दिखाने में मशरूफ रहा।
रजनी पाटिल ने कहा कि यथार्थ के धरातल पर बीजेपी सरकार की कोई बड़ी उपलब्धि जनता के बीच सामने नहीं आई है। प्रदेश में माफिया राज के कारण अराजकता का बोलबाला बढ़ा है। अफसरशाही सरकार पर हावी है और केन्द्र की तर्ज पर प्रदेश बीजेपी सरकार जनता को गुमराह करके झूठे श्रेय लेने की राह पर निकली है। पिछले 2 वर्षों में भ्रष्टाचार का एक पूरा सिस्टम इस पहाड़ी प्रदेश में पसर चुका है। प्रदेश में नशा माफिया का बोलबाला है वह चुल्हे-चौके तक दखल बढ़ा है। जबकि जयराम सरकार सेवा संकल्प का राग गाकर जनता को गुमराह कर रही है।