शिमला में भारतीय राष्ट्रीय छात्र संगठन हिमाचल प्रदेश राज्य इकाई के एक प्रतिनिधिमंडल ने प्रदेश विश्वविद्यालय के कुलपति और परीक्षा नियंत्रक को मिलकर हाई कोर्ट द्वारा परीक्षाओं पर रोक के आर्डर की कॉपी सहित न्यायालय के आगामी आदेशों तक कॉलेज छात्रों की परीक्षाओं को स्थगित करने की मांग की। इस प्रतिनिधिमंडल में प्रदेश संगठन महासचिव और विश्वविद्यालय इकाई से यासीन बट्ट सहित कई छात्र शामिल थे।
गौरतलब है कि कोरोना महामारी के कारण सुप्रीम कोर्ट में छात्रों की प्रमोशन को लेकर पहले से ही केस चल रहा है जिसकी अगली सुनवाई 18 अगस्त को होनी है। लेकिन हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय द्वारा पहले ही 17 तारीख से छठे सेमेस्टर के छात्रों के लिए डेटशीट निकाल दी थी। ऐसे में एनएसयूआई के छात्रों ने प्रदेश के उच्च न्यायालय में सुप्रीम कोर्ट में इस बारे निर्णय आने तक के लिए हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय द्वारा परीक्षाओं के आयोजन पर रोक को लेकर पीटिशन दर्ज कराई गई थी।
एनएसयूआई प्रदेशाध्यक्ष ने जानकारी दी है कि इस केस के संबंध में हाई कोर्ट द्वारा छात्रों के पक्ष में निर्णय लेते हुए आगामी आदेशों तक परीक्षाओं पर रोक लगा दी है। शिक्षा मंत्री गोविंद ठाकुर के परीक्षा जारी रखने के मीडिया बयान को एनएसयूआई अध्यक्ष ने दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए इसे कोर्ट के आदेशों की अवहेलना करना बताया। एनएसयूआई का कहना है कि इस फैसले से प्रदेश के हज़ारों छात्रों और अभिभावकों को कोरोना काल में राहत मिली है।