बीजेपी के वरिष्ठ नेता एवं प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शांता कुमार ने महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यरी को पत्र लिखकर सरकार द्वारा कंगना रनौत के संवैधानिक अधिकारों को कुचलने पर चिंता जताई है। उन्होंने पत्र द्वारा राज्यपाल से विशेष आग्रह किया है कि प्रदेश में कंगना रनौत को अपने संवैधानिक अधिकार से वंचित न किया जाए। प्रदेश सरकार को संविधान की मर्यादाओं का उल्लंघन करने से रोका जाए और इस प्रकार से बदले की भावना से प्रेरित होकर कंगना रनौत से किए गए अन्याय के लिए सरकार के विरूद्ध उचित कार्यवाही की जाए।
शांता ने कहा कि कंगना रनौत के संबंध में एक शिव सेना सांसद ने सभ्यता और शालीनता की सारी सीमाएं तोड़कर शर्मनाक शब्दों का प्रयोग किया है । और अब महाराष्ट्र सरकार ने कंगना रनौत के सभी संवैधानिक अधिकारों को कुचल कर उसके घर पर बुलडोजर घुमा दिया है। यह सारी कार्यवाही इतनी बर्रव है कि लोकतंत्र और सभ्य समाज में इसकी कल्पना भी नहीं की जा सकती। उच्च न्यायालय ने भी सरकार को फटकार लगाई है।
शांता कुमार ने कहा कि हस सब हिमाचल वासी और कंगना रनौत का पूरा परिवार बहुत अधिक चिंता में हैं। हिमाचल उस साहसी और प्रतिभाशाली बेटी ने मुंबई के सिनेमा जगत में अपना प्रशंसनीय स्थान बनाया है। भ्रष्टाचार और सिनेमा जगत में व्याप्त बुराईयों के संबंध में कंगना रनौत को अपने विचार प्रकट करने का संविधान पूरा अधिकार देता है। शांता ने कहा कि आप प्रदेश के महामहिम राज्यपाल हैं। हमें पूरा विश्वास है कि कंगना को पूरी सुरक्षा और न्याय मिलेगा।