कोरोना काल ने कई दुश्वारियां देश प्रदेश के लोगों पर ढाई। कईयों ने अपनों को खो दिया तो कईयों की नौकरी चली गई। इसी बीच कोरोना काल में कई छात्र भी पढ़ाई के आभाव में रहे। लेकिन अब इन छात्रों के लिए राहत भरी ख़बर आई है।
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, शिक्षा विभाग ऐसे विद्यार्थियों की पहचान कर उनकी पढ़ाई पूरी करवाने में मदद करेगा। इसके लिए विभाग विशेष अभियान चलाने जा रहा है। उच्चतर शिक्षा विभाग के निदेशक डॉ. अमरजीत शर्मा ने स्कूल प्रधानाचार्य, मुख्य अध्यापक और उपनिदेशकों को सर्कुलर जारी किया है। इसमें कहा गया है कि ऐसे विद्यार्थियों का पूरा रिकॉर्ड तैयार कर दो दिन के भीतर निदेशालय भेजें।
पत्र के साथ निदेशालय ने एक परफार्मा भी भेजा है। इसमें स्कूल छोडऩे वाले विद्यार्थी का नाम, पूरा पता, कक्षा और उसके अभिभावक के मोबाइल फोन नंबर की जानकारी मांगी गई है। सोमवार तक यह पूरा रिकार्ड निदेशालय भेजने को कहा गया है। विभाग इनसे संपर्क करेगा और स्कूल छोड़ने का कारण पूछेगा। यदि वे पढ़ना चाहते हैं तो इनका सरकारी स्कूलों में दाखिला करवाया जाएगा। लीगल सर्विस अथारिटी की जिलास्तरीय कमेटी में यह मामला उठा था। कमेटी के अध्यक्ष ने इसको लेकर विभाग से रिपोर्ट मांगी थी। हालांकि विभाग के पास अभी तक यह डाटा है ही नहीं कि कितने विद्यार्थियों ने स्कूल छोड़ा है।
उच्चतर शिक्षा विभाग के निदेशक डॉ. अमरजीत शर्मा ने कहा कि इसको लेकर डाटा मांगा गया है। उन्होंने कहा कि कोरोना काल में निजी स्कूलों में पढ़ाई कर रहे 40 हजार बच्चों ने सरकारी स्कूलों में दाखिला लिया है। कोरोना काल में कई बच्चों के सिर से उनके माता पिता का साया उठ गया है, उनकी पढ़ाई भी विभाग करवाएगा।