आधुनिक तकनीक और प्राचीन कलाकारी से निर्मित होने जा रहे प्राचीन आदि हिमानी श्री चामुंडा माता मंदिर का निर्माण कार्य 18 सितम्बर से शुरू हो रहा है। मंदिर के निर्माण कार्य पर करीब 1 करोड़ 4 लाख रुपए खर्च किए जा रहे हैं। मंदिर का निर्माण कार्य जहां पूरी तरह से भूकम्परोधी होगा। मंदिर का बाहरी हिस्सा आधुनिक तकनीक से निर्मित किया जाएगा और मंदिर के अंदर किन्नौर के मंदिरों की शैली पर लकड़ी पर नक्काशी की जाएगी। इसलिए यह जिला कांगड़ा के अन्य मंदिरों से अलग तरह का मंदिर होगा। मंदिर प्रशासन द्वारा मंदिर निर्माण में श्रद्धालुओं की सुविधाओं का विशेष ध्यान रखा जा रहा है।
मंदिर का निर्माण कर रहे ठेकेदार पल्लव मेहरा ने बताया कि भवन निर्माण की सामग्री घोड़ों पर मंदिर तक पहुंचा दी गई है तथा बरसात का पानी मंदिर के समीप बने तालाब में भर कर रख दिया है। उन्होंने बताया कि मंदिर के सीमैंट एवं सरिया का कार्य बर्फ पडने से पहले पूरा करने की कोशिश की जाएगी तथा उसके उपरांत मंदिर के कपाट खुल जाने के बाद लकड़ी की नक्काशी का कार्य आरंभ किया जाएगा।
गौरतलब है कि आदि हिमानी चामुंडा मंदिर में करीब 2-3 वर्ष पूर्व आसमानी बिजली गिरने से मंदिर जलकर राख हो गया था लेकिन श्री आदि हिमानी चामुंडा माता की मूर्ति पूरी तरह सुरक्षित बच गई थी। उसके उपरांत श्री चामुंडा माता मंदिर ट्रस्ट ने इस मंदिर का नया प्रारूप तैयार कर मंदिर के निर्माण करवाने का टैंडर करवा कर ठेकेदार को ठेका दे दिया था। प्राचीन आदि हिमानी श्री चामुंडा मंदिर तक पहुंचने के लिए श्रद्धालुओं को करीब 13 किलोमीटर पैदल चलकर पहुंचना पड़ता है।