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स्कूल में बच्ची के साथ मारपीट का मामला आया सामने, मां-बाप के साथ भी हुई गाली गलौज

नवनीत बत्ता |

दलित समाज सेवी संगठनों ने संयुक्त रूप से राजकीय प्राथमिक पाठशाला अमनेड में बच्चों की पिटाई पर और गाली गलौज पर कड़ा संज्ञान लिया है। दलित समाज सेवी संगठनों का संयुक्त प्रतिनिधिमंडल समेत लगभग 22 से अधिक दलित समाज सेवी संगठनों के 100 से अधिक प्रतिनिधि इकट्ठे होकर एसएचओ हमीरपुर से मिले और इस घटनाक्रम की निष्पक्ष एवं गहन छानबीन करने का आग्रह एसएचओ हमीरपुर से किया गया। जिसमें राजकीय प्राथमिक पाठशाला अमनेड में बच्चियों के प्रति मार पिटाई और उनके अभिभावकों के साथ जातीय आधार पर गाली गलौज अभद्र व्यवहार के बारे में लगभग एक घंटा परिचर्चा हुई।

एसएचओ हमीरपुर ने बताया कि इस संदर्भ में एफआईआर दर्ज़ की जा चुकी है। इसके बाद लगभग 150 सदस्यों का संयुक्त मंडल राष्ट्रीय दलित नेता ओंकार सिंह भाटिया के नेतृत्व में एसपी हमीरपुर से भी मिला जिसमें इस घटनाक्रम की पूर्ण समाजसेवी संगठनों ने जताई है। जहां इस घटना की कड़े शब्दों में निंदा की है वही समाजसेवी संगठनों ने बीपीओ इस घटनाक्रम के बारे में अवगत करा दिया है। उप शिक्षा निदेशक को भी इस घटनाक्रम की जानकारी उपलब्ध करवा दी गई है।

दलित नेता ओंकार सिंह भाटिया ने बताया कि अनिवार्य शिक्षा अधिनियम में जहां बच्चों को पढ़ाने के लिए बहुत से सुविधाएं सरकार ने प्रदान की है। साथ ही परस्पर सामंजस्य स्थापित करने के लिए स्कूल प्रबंधन समिति का भी गठन होता है। ऐसे में सही वातावरण का निर्माण करना स्कूल प्रशासन का कार्य होता है। बच्चों के साथ दुर्व्यवहार इस तरह के अध्यापकों की मानसिकता को दर्शाता है जिससे समूचे अध्यापकों की गरिमा को ठेस पहुंचती है। पुलिस प्रशासन एवं शिक्षा विभाग से उच्च उच्च कार्रवाई करने की उम्मीद दलित समाज सेवी संगठनों ने जताई है।

बता दें कि जिला हमीरपुर के सरकारी स्कूल अमनेड में अध्यापिका ने चौथी कक्षा में पढ़ने वाली छात्रा की बेरहमी से पिटाई की थी। माता-पिता को जब इस बात का पता चला तो उन्होंने पुलिस में मामला दर्ज़ करवाया था। छात्रा ने बताया कि मैडम कहती थी पाउडर क्रीम लगाकर आया करो क्योंकि बच्ची दलित जाति से संबंध रखती है। बच्ची ने ये भी बताया कि दलित हूं तभी पिटाई की। जिसके चलते छात्रा के शरीर  पर निशान भी पड़ गए थे।