फोर्टिस अस्पताल कांगड़ा में शरीर के कटे हुए अंगों और नसों का सफल इलाज किया जा रहा है। अस्पताल के प्लास्टिक और माइक्रोवासकुलर सर्जरी विभाग में हाथ, पैर की गहरी चोटों का, कटी हुई नसों का, यहां तक कि शरीर से पूरी तरह अलग हो गए अंगों को भी सफलतापूर्वक जोड़कर उपचार मुहैया करवाया जा रहा है। बशर्ते मरीज बिना वक्त गंवाए अस्पताल पहुंच जाए। अस्पताल में यह सेवा क्षेत्र के इकलौते प्लास्टिक सर्जन डाॅ. ठाकुर थुस्सू के नेतृत्व में उपलब्ध करवाई जा रही है।
अस्पताल में हादसे में जल जाने के कारण हाथ, पैर एवं गर्दन इत्यादि में आने वाली अपंगता, जिसके चलते उनका काम करना, ठीक तरीके से चलना-फिरना या खाना-पीना भी असंभव था, उनका इलाज करके उन्हें भी जीवन की मुख्यधारा में लाया जा रहा है।
मुंह और जबड़े की चोटों एवं फ्रैक्चर को भी प्लास्टिक सर्जरी विभाग में जोड़ कर मरीजों को राहत प्रदान की जा रही है। यही नहीं, बच्चों एवं बड़ों में होने वाले जन्मजात रोग जैसे होंठ एवं तालु का कटा होना, का भी स्माइल ट्रेन संस्था से मिलकर मुफत इलाज व आॅपरेशन किया जा रहा है। चेहरे पर उगे बाल, घाव के निशान, मस्से, झुर्रियां, पिंपल, चेहरे की आभा को फीका कर देते हैं, लेकिन अब कॉस्मेटिक सर्जरी व लेजर तकनीक के जरिए इन परेशानियों से निजात पाना आसान है। डाॅ ठाकुर थुस्सू शरीर पर अनचाहे बालों को हटाना, चेहरे के निशानों को हटाना, झाइयां, मोटापा घटाना, झुर्रियां, चेहरे पर लाइनें व गड्ढे, टैटू रिमूव करने के लिए अत्याधुनिक सेवाएं प्रदान कर रहे हैं।
डॉ. ठाकुर थुस्सू ने कहा कि प्लास्टिक सर्जरी विविधताओं की शैली है। यह शरीर के किसी अंग पर केंद्रित नहीं होती तथा सिर से पैर, सभी जगहों के लिए उपयुक्त है। यह शैली आज हर तरह की अंग विच्छेदक चोटों, आग से जले मरीजों, जन्मजात रोगों, खासतौर से हाथ-पैर की कुरूपता, मुंह-जबड़े की चोटों इत्यादि में मरीजों को आराम पहुंचा रही है।