जिला बिलासपुर के उपमंडल घुमारवीं में 71 वां गण्तंत्र दिवस समारोह राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला (छात्र) घुमारवीं के प्रांगण मे पूर्ण हर्षोल्लास और सम्मान के साथ मनाया गया। समारोह की अध्यक्षता उपमंडल अधिकारी(ना.)घुमारवीं शशि पाल शर्मा ने की। 26 जनवरी की इस पावन वेला पर सर्व-प्रथम मुख्याअतिथि महोदय ने राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की प्रतिमा पर और शहीद समारक पर शहीदों को श्रद्धा सुमन अर्पित किये। इसके बाद राष्ट्रीय ध्वज फहराया और पुलिस, एनसीसी, एनएसएस, स्काउट एवं गाइड और स्थानीय स्कूलों के बच्चो की प्रभावशाली परेड़ की सलामी ली ।
इस अवसर पर उन्होंने अपने संदेश मे कहा कि गणतंत्र दिवस का यह पर्व हम सभी को देशभक्तों के जज्बे को स्मरण का अवसर देता है। जिन्होंने इस देश की आजादी, स्वाभिमान के लिए अपने प्राण तक त्याग दिए। गणतंत्र दिवस हमें सिखाता है कि देश के सभी नागरिकों के लिए संविधान समान है चाहे वह किसी भी जाति, धर्म या पंथ का हो, यह दिवस हमें एकता में बंधे रहने का महत्व बताता है। हमारे महान और विशाल देश के नागरिकों ने अधिकारों को हमने एक ही संविधान और संघ में पाया है। जो देश में रहने वाले हर नागरिक के कल्याण की जिम्मेवारी लेता है। हमारा संविधान जहां नागरिकों को उनके उत्थान, प्रगति, विकास के लिए मौलिक अधिकार देता है वहीं उन नागरिकों से देश की अखण्डता, सम्पन्नता के लिए सम्मान और समर्पण की अपेक्षा भी मौलिक कर्तव्यों के रूप में चाहता है। उन्होंने कहा कि संविधान द्वारा प्रदान कर्तव्यों का हम सभी को निष्ठा से पालन करना चाहिए।
उन्होने युवाओं में बढ़ती नशे की प्रवृति पर चिंता जाहिर करते हुए कहा कि यह बुराई हमारे युवाओं का जीवन तबाह कर देगी और यह आने वाली पीढ़ी के लिए भी हानिकारक होगा। इसके लिए हमें समाजिक स्तर पर पहल करके इनके विरूद्ध कार्य करना होगा जिसमे सभी की सहभागिता होनी आवश्यक है। इस अवसर पर एवं विभिन्न शिक्षण संस्थानों द्वारा देश भक्ति पर आधारित सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत किये गए जो समारोह के मुख्य आकर्षण रहे। मुख्याअतिथि द्वारा सास्कृतिक कार्यक्रम और परेड़ में भाग लेने सभी प्रतिभगियों को सम्मानित किया गया ।
समारोह में विशेष रूप से आमंत्रित उपमण्ड़ल के स्वतंत्रता सेनानियों, वीर नारियों को सम्मानित किया गया और समारोह में उपस्थित गणमान्य अतिथियों को पर्यावरण सरंक्षण के प्रति बल देने के उदेश्य से एक औषधीय पौधा देकर सम्मानित किया गया। उन्होने इस बात पर जोर दिया कि हमें अपनी प्राकृतिक धरोहरों को बचाने के लिए कार्य करने की आवश्यकता है। इस अवसर पर गत साल करयालग गांव में हुए भूस्खलन के दौरान लोगो को बचाने में अपनी सराहनीय भूमिका अदा करने बाले युवाओं और स्थानीय निवासियों को प्रशस्ती पत्र देकर समानित किया गया।