लोकसभा चुनावों की घोषणा होते ही प्रदेश में स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव करवाने एवं कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए सी.आर.पी.सी की धारा-144 के तहत प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए आदेश जारी किए गए हैं। प्रदेश के जिला हमीरपुर, राजधानी शिमला और कुल्लू जैसे जिलों के जिला दण्डाधिकारीयों ने सभी शस्त्र धारकों को तुरन्त अथवा 31 मार्च, 2019 तक अपने शस्त्र एवं गोला बारूद जमा करवाने के आदेश दिए हैं। उन्होंने आदेश तत्काल रूप से प्रभावी करते हुए कहा कि यदि कोई शस्त्र एवं गोला बारूद जमा न करवाने की स्थिति में दोषी पाया जाता है तो उस व्यक्ति के खिलाफ विधि अनुसार कार्रवाई अमल में लाई जाएगी। यह आदेश तुरन्त प्रभाव से लागू होंगे एवं 24 मई, 2019 की अर्धरात्रि तक प्रभावी रहेंगे।
रिटर्निंग अधिकारी एवं जिला निर्वाचन अधिकारी (उपायुक्त) जिला हमीरपुर डॉ ऋचा वर्मा, जिला दण्डाधिकारी शिमला अमित कश्यप, जिला दण्डाधिकारी कुल्लू यूनुस ने ये आदेश जारी किए हैं।
उपायुक्त जिला हमीरपुर ने कहा कि भारतीय दंड संहिता की धारा-177 के अनुसार यदि कोई व्यक्ति निर्वाचन प्रक्रिया के दौरान धनराशि या अन्य किसी प्रकार का परितोषण प्राप्त करता है या परितोषण देता है, जोकि किसी व्यक्ति के मतदान करने के अधिकार में प्रभाव डालता हो, को एक साल के कारावास या जुर्माना दोनों की सजा हो सकती है। रिश्वत लेने और देने वाले दोनों के खिलाफ मामला दर्ज करने के लिए 3 टीमें प्रत्येक विधानसभा निर्वाचन क्षेत्रवार उड़न दस्ता दल गठित की गई है। निर्वाचन के दौरान किसी भी प्रकार के रिश्वत लेने और देने से बचें। यदि कोई भी व्यक्ति रिश्वत देता या दिये जाने के बारे में कोई जानकारी रखता है तो वह तुरंत शिकायत जिला हमीरपुर में स्थापित जिला स्तरीय अनुवीक्षण प्रकोष्ठ में स्थापित नंबर 1950 पर सूचित कर सकता है।
जिला दण्डाधिकारी शिमला द्वारा जारी इन आदेशों के अनुसार जिला शिमला के सभी शस्त्र लाईसैंस धारकों को अपने शस्त्र एवं गोला बारूद पास के पुलिस थानों और शस्त्र डीलरों के पास तुरन्त जमा करवाने के निर्देश दिए गए हैं।
जिला दण्डाधिकारी कुल्लू ने आदेश में कहा कि लोकसभा चुनाव के दौरान जिला के विभिन्न भागों में जनसभाएं, बैठकें और जुलूस इत्यादि होंगे जिनके चलते शांति और सुरक्षा का खतरा उत्पन्न होने की संभावना रहती है। इसलिए, निष्पक्ष और शांतिपूर्ण चुनाव सुनिश्चित करने के लिए और इस दौरान कानून व्यवस्था बनाए रखने के उद्देश्य से सभी प्रकार के हथियार और असला पुलिस थाना में जमा करवाने के आदेश जारी किए गए हैं।
बता दें कि यह आदेश सशस्त्र सेनाओं, अर्धसैनिक बलों, गृह रक्षकों, पुलिस बलों और कानून एवं न्याय व्यवस्था बनाए रखने के लिए तैनात कर्मियों पर लागू नहीं होंगे।