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देश के पहले मतदाता श्याम शरण नेगी ने कल्पा में डाला वोट

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स्वतंत्र भारत के प्रथम मतदाता 104 वर्षीय श्याम सरन नेगी ने कल्पा-51 मतदान केंद्र पर मतदान किया। उन्होंने दोपहर करीब 1 बजकर 12 मिनट पर अपने मताधिकार का प्रयोग किया। श्याम सरन नेगी को मतदान के लिए उनके घर कल्पा से सरकारी वाहन से सम्मानपूर्वक बूथ पर लाया गया। उनके स्वागत के लिए पोलिंग बूथ को भी विशेष रूप से सजाया गया था। मतदान करने से पहले अधिकारियों ने उन्हें पारंपरिक वेशभूषा और वाद्ययंत्रों की धून के बीच टोपी और मफलर पहनाकर सम्मानित किया।

वोट करने के बाद श्याम सरन नेगी ने लोगों को भी मतदान करने के लिए प्रेरित किया। श्याम सरन नेगी ने बताया कि देश में जब से लोकतंत्र शुरू हुआ है तब से लेकर आज तक उन्होंने हर बार खुशी-खुशी वोट डाला है। उन्होंने एक बार भी मतदान करना नहीं छोड़ी। उन्होंने बताया कि आज वे 33वीं बार मतदान कर रहे हैं।

जानें कैसे बने देश के पहले मतदाता

बता दें कि हिमाचल किन्नौर जिला के कल्पा से संबंध रखने वाले 104 वर्षिय श्याम सरन नेगी स्वतंत्र भारत के पहले मतदाता हैं। देश में फरवरी 1952 में पहला लोकसभा चुनाव हुआ लेकिन किन्नौर में भारी बर्फबारी के चलते 5 महीने पहले सितंबर 1951 में ही चुनाव कराए गए। चुनाव चुनाव के समय श्याम सरन नेगी किन्नौर के मूरंग स्कूल में अध्यापक थे और चुनाव में उनकी ड्यूटी लगी थी।

उन्हें मतदान का काफी उत्साह था। उनकी ड्यूटी शौंगठोंग से मूरंग तक थी, जबकि उनका वोट कल्पा में था, इसलिए उन्होंने सुबह मतदान कर ड्यूटी पर जाने की इजाजत मांगी। वह सुबह मतदान स्थल पर पहुंच गए, लेकिन छह बजकर 15 मिनट पर मतदान ड्यूटी पार्टी पहुंची। नेगी ने जल्दी मतदान करवाने का निवेदन किया, पार्टी ने रजिस्टर खोलकर उन्हें पर्ची दी। मतदान करते ही इतिहास बन गया और मास्टर श्याम सरन नेगी आजाद भारत के प्रथम मतदाता बन गए।