सपड़ी-पनाहर सड़क निर्माण के लिए 30 करोड़ स्वीकृत: संजय रत्न
बोले, चंगर के ग्रामीण क्षेत्रों को मिलेगी बेहतर सड़क सुविधा
विधायक ने सुराणी में बीडीओ आफिस का किया शुभारंभ
विधायक संजय रत्न ने कहा कि ज्वालामुखी विधानसभा के चंगर क्षेत्र में बेहतर सड़क सुविधा उपलब्ध करवाई जाएगी। उन्होंने कहा कि तीस करोड़ की लागत से सपड़ी-पनाहर सड़क का निर्माण कार्य शीघ्र आरंभ होगा ताकि लोगों को आवागमन की बेहतर सुविधाएं मिल सकें।
रविवार को विधायक संजय रत्न ने ज्वालामुखी में पंडित सुशील रत्न पुस्तकालय का शुभारंभ, चंबारपत्तन द्रग-अंब पठियार मार्ग, बूणी गुजरा वाया जोगियां दी बस्ती सड़क, एबुलेंस मार्ग जेकेपीटी से गांव सपड़ी पार्ट एक, एंबुलेंस मार्ग जेकेपीटी से जोगिंद्र सिंह हाउस का शिलान्यास किया तथा जेकेपीटी से गुजर बस्सी तक के संपर्क मार्ग का शुभारंभ किया इसके उपरांत सुराणी में बीडीओ आफिस का शुभारंभ किया। इस अवसर पर जनसभा को संबोधित करते हुए विधायक संजय रत्न ने कहा कि ज्वालामुखी विस क्षेत्र का समग्र विकास सुनिश्चित किया जाएगा।
उन्होंने कहा कि ग्रामीण स्तर पर शिक्षा, स्वास्थ्य तथा सड़क की बेहतर सुविधा उपलब्ध करवाई जाएगी। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार राज्य को आत्मनिर्भर बनाने के ध्येय के साथ कार्य कर रही है और सही नीतियों को आगे बढ़ा रही है।
उन्होंने कहा कि आर्थिक संसाधनों की कमी के बावजूद प्रदेश सरकार ने प्राकृतिक आपदा का मजबूती से सामना किया। प्रदेश सरकार को केंद्र से कोई विशेष सहायता प्राप्त नहीं हुई फिर भी हमारी सरकार ने प्राथमिकताएं तय कीं और हर प्रभावित व्यक्ति को हरसम्भव सहायता प्रदान की।
प्रदेश सरकार आम आदमी को केंद्र में रखकर अपनी योजनाओं व कार्यक्रमों का स्वरूप तय कर रही है। सरकारी नियमों व प्रक्रियाओं को सरल बनाकर सरकारी सेवाओं को आम आदमी के घर-द्वार पहुंचाने का प्रयास कर रही है। इसी के दृष्टिगत राजस्व विभाग में विशेष राजस्व लोक अदालतों का आयोजन आरम्भ किया गया। इसके उत्साहजनक परिणाम सामने आए हैं।
उन्होंने प्रदेश सरकार की विभिन्न योजनाओं की चर्चा करते हुए कहा कि वित्त वर्ष 2024-25 के बजट में मुख्यमंत्री सुख शिक्षा योजना लाई गई है। इस योजना के तहत प्रदेश में ऐसी सभी विधवाओं के 27 साल तक की आयु वाले बच्चों, जिनकी सभी स्रोतों से वार्षिक आय एक लाख से कम हो, की शिक्षा पर होने वाले व्यय प्रदेश सरकार वहन करेगी।
उन्होंने कहा कि वर्तमान सरकार आत्मनिर्भर हिमाचल की परिकल्पना को साकार करेगीे। सरकार संसाधन जुटाने के लिए नई पहल कर रही है और इनका इस्तेमाल प्रदेशवासियों के विकास तथा कल्याण के लिए सुनिश्चित किया जाएगा।