नवरात्रि पर एक ओर जहां प्रदेश के मंदिरों में श्रद्धालुओं का जमावड़ा लगा है तो वहीं दूसरी तरफ इन दिनों रामलीला देखने में भी लोगों का खासा उत्साह देखने को मिल रहा है। इसी कड़ी में जिला मंडी में लक्ष्मी युवक मंडल अलसिंडी की और से सीता वनवास पर आधारित नाटक का मंचन किया जा रहा है। अलसिंडी में आयोजित इस कार्यक्रम को देखने के लिए आस-पास के क्षेत्रों से भारी संख्या में लोग पहुंचे।
कार्यक्रम का शुभारम्भ गणपति वंदना के साथ हुआ। इसके पश्चात् सीता वनवास पर आधारित नाटक के मंचन के दौरान गुरमुख नामक गुप्तचर का प्रजा में वार्तालाप और सीता और उनकी सखियों में वार्तालाप के दृश्य के दौरान प्रजा सीता माता के पक्ष में बातचीत करती है। सीता के परित्याग के दृश्य जिसमे भगवान् राम मूर्छित हो जातें है और गुरमुख नमक गुप्तचर राम भगवान को समझाना। अंतिम दृश्य में गुरु वशिष्ट श्रीराम को अश्वमेघ यज्ञ करवाने के बारे में प्रेरित करते है।
तारा चौहान और दीक्षा कपूर की नाटियों पर झूमे दर्शक
इस अवसर पर पहाड़ी लोक कलाकार तारा चौहान और दीक्षा कपूर ने पहाड़ी नाटियां गाकर दर्शकों को नाचने पर मजबूर कर दिया। दाडो तो पाके दाद्ने, मेला लागा पोश रा, ओ लाडी शांता, सहेबा री बिबिये, झुमके-झुमके, रोहडू जाणा मेरी आमिये, मांडी लागो लूणा ले जाणा मेरिये आमिये जैसी नाटियां गाकर खूब समां बांधा।
इस मौके पर मेला कमेटी के प्रधान मोहन वर्मा और कृष्ण शर्मा ने बताया कि इस नाटक में स्थानीय युवाओं के साथ-साथ अलसिंडी स्कूल के छात्र भी किरदार कर रहे हैं। बच्चों के किरदार को लोगों ने खूब सराहा और तालियां बजाकर सभी युवाओं का उत्साह भी बढाया। उन्होंने बताया कि लक्ष्मी युवक मंडल अलसिंडी पिछले कई सालों से सीता वनवास पर नाटक का मंचन करते आ रहे हैं। उन्होंने लोगों को अधिक से अधिक संख्या में यहां पहुंचने का आग्रह किया।