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पारंपरिक उत्पादों को बेहतर तरीके से तैयार करने की दी जाएगी ट्रेनिंग: DC

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उपायुक्त कांगड़ा राकेश प्रजापति ने कहा कि कांगड़ा जिला में मुख्यमंत्री ग्रामीण कौशल विकास योजना के तहत स्वयं सहायता समूहों एवं युवाओं को पारंपरिक उत्पादों को बेहतर तरीके से तैयार करने के लिए ट्रेनिंग दी जाएगी इसमें राष्ट्रीय फैशन डिजाइन संस्थान और पीएनबी ग्रामीण स्वरोजगार प्रशिक्षण संस्थान, शिल्प विशेषज्ञों की मदद भी जाएगी ताकि ये उत्पाद मार्केट में उपभोक्ताओं को आकर्षित कर सकें और बिक्री में भी इजाफा हो सके इससे स्वयं सहायता समूहों की आमदनी में भी बढ़ोतरी संभव हो सकेगी।
    
बुधवार को डीआरडीए के सभागार में ग्रामीण विकास विभाग के अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की अध्यक्षता करते हुए उपायुक्त राकेश प्रजापति ने कहा कि सभी विकास खंड अधिकारियों को ट्रेनिंग के इच्छुक स्वयं सहायता समूहों की सूची प्रेषित करने के दिशा निर्देश दिए गए हैं। इसके साथ ही किस क्षेत्र में कौन से पारंपरिक उत्पाद तैयार किए जा रहे हैं उसके बारे में भी विस्तार से जानकारी देने के लिए कहा गया है। उपायुक्त ने कहा कि बांस के उत्पाद, पीतल के बर्तन, पोल्ट्री, चंबा रूमाल, कांगड़ा चित्रकला, मैंगो प्रोसेसिंग, पत्तल बनाना इत्यादि पारंपरिक उत्पाद हैं इन्हें और बेहतर बनाने के लिए विशेषज्ञों के माध्यम से ट्रेनिंग दिलाई जाएगी और उत्पादों की ब्रांडिंग के लिए भी उचित कदम उठाए जाएंगे। उन्होंने कहा कि पारंपरिक उत्पादों की मार्केटिंग के लिए भी उचित व्यवस्था की जाएगी। इस के लिए भी प्लान तैयार किया जा रहा है।
    
उन्होंने कहा कि पारंपरिक उत्पादों के निर्माण में स्वरोजगार की असीम संभावनाएं हैं। इन्हीं संभावनाओं को ध्यान में रखते हुए स्वयं सहायता समूहों और युवाओं के लिए ट्रेनिंग की व्यवस्था की जा रही है। इससे पहले एडीसी राघव शर्मा ने मुख्यमंत्री ग्रामीण कौशल विकास कार्यक्रम के बारे में विस्तार से जानकारी प्रदान की। इस अवसर पर परियोजना अधिकारी डीआरडीए सोनू गोयल, जिला पंचायत अधिकारी अश्वनी शर्मा सहित कांगड़ा जिला के विकास खंड अधिकारी भी उपस्थित थे।           

विकास कार्यों को समयबद्व पूरा करें: DC
     
उपायुक्त राकेश प्रजापति ने ग्रामीण विकास विभाग के अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि लंबित विकास कार्यों को समयबद्व पूरा करने के लिए कारगर कदम उठाए जाएं ताकि विकास कार्यों को लोगों को लाभ मिल सके। उपायुक्त राकेश प्रजापति बुधवार को डीआरडीए के सभागार में ग्रामीण विकास विभाग की समीक्षा बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। उन्होंने कहा कि साल 2013-14 से लेकर साल 2018-19 के तहत जिन विकास कार्यों के लिए राशि स्वीकृत की गई है और अभी तक कार्य शुरू नहीं हुए हैं उनकी रिपोर्ट प्रेषित की जाए ताकि इस राशि को अन्य विकास कार्यों पर खर्च किया जा सके।
   
उपायुक्त राकेश प्रजापति ने कहा कि पंचायत स्तर पर निर्माण कार्यों का नियमित तौर पर निरीक्षण किया जाए इसके साथ ही निर्माण कार्यों में गुणवत्ता का विशेष ध्यान रखा जाए। उपायुक्त राकेश प्रजापति ने कहा कि सभी विकास खंडों में पंचवटी पार्क के निर्माण के लिए जमीन चयनित करने के लिए भी शीघ्र कदम उठाए जाएं इसके साथ ही ग्रामीण क्षेत्रों में खेल मैदान विकसित करने के लिए भी कारगर कदम उठाए जाएं ताकि युवाओं को खेलकूद के लिए बेहतर सुविधाएं मिल सकें। इस अवसर पर एडीसी राघव शर्मा, परियोजना अधिकारी डीआरडीए सोनू गोयल सहित सभी विकास खंडों के बीडीओ उपस्थित थे।