Padhar/Mandi: मंडी-पठानकोट राष्ट्रीय उच्च मार्ग की खस्ताहाल स्थिति पर राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआइ) द्वारा कोई ध्यान न दिए जाने के कारण स्थानीय ग्रामीणों ने अपने स्तर पर इस मार्ग की मरम्मत का काम शुरू कर दिया है। जोगेंद्रनगर के गलू से लेकर मंडी के बिजनी तक एनएच की हालत बेहद खराब हो चुकी है। यहां सड़कों पर बड़े-बड़े गड्ढे हैं, और सड़कों के किनारे की नालियां (बरम) भी नालों में तब्दील हो चुकी हैं, जिससे दुर्घटनाओं और वाहनों के कलपुर्जों को नुकसान पहुंच रहा है।
उरला बाजार के साथ लगते इस खस्ताहाल मार्ग पर स्थानीय ग्रामीणों ने अपनी ओर से जेसीबी मशीन और टिप्पर का किराया देकर मिट्टी बिछाकर मार्ग को समतल करने का काम किया। ग्राम पंचायत चुक्कू के प्रधान, मनसा राम ने इस काम के लिए मशीनरी तैनात की और मार्ग सुधार का कार्य अंजाम दिया।
स्थानीय निवासियों का कहना है कि जब से एनएच मंडी-पठानकोट मार्ग एनएचएआइ के अधीन आया है, उसकी हालत लगातार बिगड़ती जा रही है। यात्रियों, पर्यटकों और वाहन चालकों को बेहद परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। कोटरोपी घटनास्थल पर भारी मालवाहक वाहन चढ़ाई में फंस जाते हैं, लेकिन इसके बावजूद कोई ध्यान नहीं दिया गया।
बरसात के खत्म होने के बाद, एनएचएआइ ने जल शक्ति विभाग विश्राम गृह डलाह से पधर बाजार तक टारिंग का काम शुरू किया है, लेकिन घटासनी से गवाली तक का पैचवर्क अब तक नहीं किया गया है। इस 10 किलोमीटर के क्षेत्र में सड़क की क्षतिग्रस्त नालियां जानलेवा साबित हो रही हैं। जब एनएचएआइ ने कोई ध्यान नहीं दिया, तो ग्रामीणों ने स्वयं मशीनरी किराए पर लेकर एनएचएआइ की उदासीनता को चुनौती दी और अपने प्रयासों से काम को पूरा किया।