ज्वालाजी के मुख्य मंदिर मार्ग में हो रहे कैनोपी के कार्य के दौरान सड़क किनारे हो रहे कार्य को कितने गैर जिम्मेदाराना तरीके से किया जा रहा है। इसका एक उदाहरण देखने को मिला। अव्यवस्था का आलम ये है कि यहां गन्दी नालियों के बीच पीने की पाइपें गुजार दीं। जिसके चलते स्थानीय लोगों में काफी रोष देखने को मिल रहा है। लोगों का आरोप है कि पानी की लीकेज के दौरान यहां पानी के दूषित होने का खतरा है।
हैरानी की बात ये है कि जहां पीने के पानी की पाइपों की गहराई लगभग 1 फ़ीट तक होनी चाहिए वहां आधे फ़ीट की बनी हुई नालियों के बीच में से इन पाइपों को गुजार दिया। इस कार्य को एबीडी विभाग द्वारा करवाया जा रहा है, जिसका ठेका विभाग द्वारा आगे एक ठेकेदार को दिया है, लेकिन यहां कोई पूछने वाला तो है नहीं ऐसे में ठेकेदार यहां अपना काम मनमर्जी से कर रहा है।
दरअसल, एडीबी द्वारा करोड़ों की लागत की कैनोपी बनाने का कार्य किया जा रहा है। इसी के साथ रास्ते के साथ साथ बारिश और गन्दे पानी की निकासी के लिये नालियां भी बनाई जा रही हैं, जिसमे नियमो को ताक पर रखकर पानी के पाइप भी इस निकास नालियों में ही दबाए जा रहे हैं जो कि सरासर गलत है। पानी की पाइप के ऊपर ही निकास नाली का निर्माण किया जा रहा है। जिस बजह से निकास नाली आने वाले समय मे अवरुद्ध हो सकती है और पानी के पाइप भी जाम होने की स्थिति में रिपेयर नहीं की जा सकती है।
समस्या का किया जाना चाहिए समाधान
निकास नालियां बनाने वालों को आईपीएच विभाग से मिलकर इस समस्या का समाधान किया जाना चाहिए था। दुकानरो ने मांग की है कि पानी की पाइपों से दूर नाली बनाई जाए या कोई हल निकाला जाये ताकि आने वाले समय मे किसी को कोई परेशानी न हो।
क्या कहते एसडीएम ज्वालाजी
इस बारे में एसडीएम ज्वालामुखी अंकुश शर्मा का कहना है कि उनके ध्यानार्थ मामला आया है जल्द ही बैठक कर एडीबी को नियमानुसार कार्य करने की हिदायत दी जाएगी और आईपीएच विभाग से भी इस बारे में बात की जाएगी।