शहरी विकास मंत्री सरवीन चौधरी ने जानकारी देते हुए बताया कि केंद्र सरकार ने सभी शहरी स्थानीय निकायों में नए स्नातकों को प्रशिक्षण की सुविधा प्रदान करने के लिए अर्बन लर्निंग इंटरनशिप प्रोग्राम (ट्यूलिप) शुरू किया है। इस कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य युवाओं को देश के तेज़ी से बढ़ते शहरी पारिस्थितिक तंत्र के दृष्टिगत समस्या निवारण और महत्वपूर्ण सोच कौशल से युवाओं को लैस करने के लिए शुरू किया गया है। यह कार्यक्रम शहरी क्षेत्रों में सीखने के अवसरों के साथ नए स्नातकों को एक उचित मंच प्रदान करेगा।
उन्होंने कहा कि यह कार्यक्रम राज्य के स्नातकों के मूल्य-से-बाजार को बढ़ाने और शहरी नियोजन, परिवहन इंजीनियरिंग, पर्यावरण, नगरपालिका वित्त आदि जैसे विविध क्षेत्रों में एक संभावित प्रतिभा पूल बनाने में मदद करेगा। इस प्रकार, न केवल भावी शहर के प्रबंधकों के सृजन को उत्प्रेरित करेगा। सरवीन चौधरी ने कहा कि ट्यूलिप कार्यक्रम आत्मनिर्भर भारत की ओर एक बड़ा कदम है जिससे राज्य के युवाओं को काफी लाभ मिलेगा। यह मंच स्नातकों के लिए अवसर सृजित करेगा और उन्हें शहरी प्रशासन के क्षेत्र में इंटर्नशिप के लिए आवेदन करने की अनुमति देगा। इससे भारत की शहरी चुनौतियों के समाधान के लिए सह-निर्माण में युवाओं के जुड़ाव के साथ नए विचारों और ऊर्जा का प्रसार होगा। इससे एक ओर जहां युवाओं को सीखने के अवसर मिलेंगे वहीं राज्य के शहरी स्थानीय निकायों की कार्यप्रणाली में नई ऊर्जा और विचारों को बढ़ावा मिलेगा।
शहरी विकास मंत्री ने कहा कि वित्तीय वर्ष 2020-21 में हर घर में 120 दिनों का निश्चित रोजगार प्रदान करके शहरी क्षेत्रों में आजीविका सुरक्षा को बढ़ाने के उद्देश्य से, राज्य सरकार ने मुख्यमंत्री शहरी आजीविका योजना भी शुरू की है। इस योजना से श्रमिकों के कौशल संवर्धन में मदद मिलेगी, जिससे उन्हें आजीविका के बेहतर अवसर प्रदान किए जा सकेंगे। इसके अलावा, उद्यमिता प्रशिक्षण के साथ-साथ सब्सिडी की सुविधा से वे अपने स्वयं के उद्यम स्थापित कर सकेंगे। यह शहरी बुनियादी ढांचे को भी मजबूत करेगा और शहरी स्थानीय निकायों में गुणवत्तापूर्ण नागरिक सुविधाओं का प्रावधान सुनिश्चित होगा।