बिहार के 12 जिलों में आई बाढ़ से अब तक 123 लोगों की मौत हो चुकी है जबकि 81 लाख 57 हजार 700 लोग प्रभावित हुए हैं। आपदा प्रबंधन विभाग ने बुधवार को बताया कि बिहार के 12 जिलों में बाढ़ का कहर जारी है। मरने वाले 123 लोगों में से सीतामढ़ी के 37, मधुबनी के 30, अररिया के 12, शिवहर एवं दरभंगा के 10-10, पूर्णिया के 9, किशनगंज के 5, मुजफ्फरपुर के 4, सुपौल के 3, पूर्वी चंपारण के 2 और सहरसा का एक व्यक्ति शामिल है।
बिहार में बाढ़ से प्रभावित शिवहर, सीतामढ़ी, मुजफ्फरपुर, पूर्वी चंपारण, मधुबनी, दरभंगा, सहरसा, सुपौल, किशनगंज, अररिया, पूर्णिया और कटिहार है। इन 12 जिलों में कुल 42 राहत शिविर चलाए जा रहे हैं जहां 22400 लोग शरण लिए हुए हैं जिनके भोजन की व्यवस्था के लिए 835 सामुदायिक रसोई चलाई जा रही है। बाढ़ प्रभावित इलाके में राहत एवं बचाव कार्य के लिये एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की कुल 26 टीम और 796 मानव बल को लगाया गया है और 125 मोटरबोट का इस्तेमाल किया जा रहा है।
केंद्रीय जल आयोग से प्राप्त जानकारी के मुताबिक बिहार की कई नदियां बूढ़ी गंडक, बागमती, अधवारा समूह, कमला बलान, कोसी, महानंदा और परमान नदी विभिन्न स्थानों पर आज सुबह खतरे के निशान से ऊपर बह रही थी। मौसम विभाग के अनुसार बिहार की सभी नदियों के जलग्रहण क्षेत्रों में गुरूवार की सुबह तक हल्की से साधारण बारिश की संभावना जतायी गयी है।
वहीं, बारिश संबंधी घटनाओं के चलते उत्तर प्रदेश, बिहार और झारखंड में 54 लोगों की मौत हो गई है जबकि असम में बुधवार को बाढ़ की वजह से छह और लोगों की मौत हो गई है। मानसून की बारिश कई इलाकों में देखी जा रही है और मुंबई एवं उसके आसपास के जिलों में जलप्रलय जैसे हालात बन गए हैं। मौसम विभाग ने दिल्ली सहित पूर्वी और उत्तरी क्षेत्रों के कई राज्यों में अगले कुछ दिनों में बारिश होने का अनुमान जताया है।