पाकिस्तान की जेल में बंद भारतीय नागरिक कुलभूषण का अपहरण किया गया था। ये अपहरण पाकिस्तानी खुफियाा एजेंसी आईएसआई के इशारे पर किया गया था। बलोच के एक ऐक्टिविस्ट ने इस बात का खुलासा किया है कि कुलभूषण को ईरान के चाबहार से अगवा किया गया था। एक न्यूज चैनल से बातचीत में बलोच ऐक्टिविस्ट मामा कदीर ने इस अपहरण से पर्दा उठाया है।
कदीर का दावा है कि मुल्ला उमर ने पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी के इशारे पर कुलभूषण का अपहरण किया था। मुल्ला उमर आईएसआई के लिए काम करता है। कुलभूषण के अपहरण के लिए आईएसआई ने मुल्ला उमर को बकायदा करोड़ों रुपये का भुगतान भी किया था।
कदीर ने पाकिस्तान के उस दावे को भी झूठ का पुलिंदा बताया जिसमें ये कहा गया था कि कुलभूषण को बलूचिस्तान में जासूसी के आरोप में गिरफ्तार किया गया था। कादीर ने कहा कि सच तो यह है कि जाधव बलूचिस्तान आए ही नहीं थे, बल्कि मुल्ला उमर ने ईरान से उनका अपहरण किया था। कदीर ने दावा किया है कि बलूचिस्तान में हर आने-जाने वाले की जानकारी आईएसआई को होती है। यह संभव ही नहीं है कि बिना आईएसआई की जानकारी के कोई विदेशी बलूचिस्तान में घुस जाए।
गौरतलब है कि कुलभूषण जाधव करीब दो साल से पाकिस्तान की जेल में बंद हैं। पाकिस्तान की सैन्य अदालत ने कुलभूषण को जासूसी के आरोप में फांसी की सजा सुनाई है। इस फैसले के खिलाफ भारत ने अंतरराष्ट्रीय न्यायालय का दरवाजा खटखटाया, जहां अगले फैसले तक फांसी की सजा पर रोक लगा दी गई।
आपको बता दें कि 25 दिसंबर 2017 को पाकिस्तान ने मानवीय आधार पर कुलभूषण की माता और पत्नी को उनसे मिलने के लिए पाकिस्तान आने की इजाजत भी दी थी। कुलभूषण की माता और पत्नी उनसे मिलने के लिए पाकिस्तान भी गए। जहां एक शीशे की दीवार के बीच उनकी मुलाकात कुलभूषण से करवाई गई। पाकिस्तान के इस रवैय की पूरी दुनिया में कड़ी आलोचना हुई थी।