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करतारपुर जाने पर रोक! सीएम चन्नी के जत्थे से क्यों अलग हुए सिद्धू?

डेस्क |

पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी के नेतृत्व में एक जत्था आज करतार गुरद्वारा साहिब जाएगा. उनके साथ उनके कई मंत्रियों, विधायकों के साथ कुछ अधिकारी भी जाएंगे. लेकिन पंजाब कांग्रेस के प्रदेशाध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू इस जत्थे में शामिल नहीं होंगे. वह 20 नवंबर यानी शनिवार को अपना जत्था लेकर करतारपुर जाएंगे.

विदेश मंत्रालय ने पंजाब कांग्रेस के मुखिया नवजोत सिंह सिद्धू को अगले दो दिन करतारपुर जाने की इजाजत नहीं दी है. सिद्धू पंजाब सीएम चरणजीत सिंह चन्‍नी के साथ आज पाकिस्‍तान में स्थित गुरुद्वारे जाने वाले थे. विदेश मंत्रालय ने सिद्धू को 20 नवंबर के लिए अनुमति दी है. इस बीच पाकिस्‍तान ने करतारपुर कॉरिडोर की वेबसाइट पर सिद्धू की तारीफ में कसीदे पढ़े हैं.

पिछली बार जब सिद्धू पाकिस्‍तान गए थे तो वह जनरल कमर जावेद बाजवा से गलबहियां करते दिखे थे. इसे लेकर पार्टी के भीतर और बाहर उनकी खासी फजीहत हुई थी. सिद्धू ने करतारपुर जाने के लिए मंगलवार को आवेदन किया था. रिपोर्ट के मुताबिक आज चन्नी के साथ करीब 100 लोग ऐतिहासिक करतापुर जाएंगे. चन्नी की यह यात्रा गुरुपर्व से एक दिन पहले हो रही है.

सिख धर्म के संस्थापक गुरु नानक देव के जन्मदिन को गुरुपर्व के रूप में मनाया जाता है. गुरुनानक देव ने करतारपुर में ही अपना अंतिम समय बिताया था. अब करतारपुर पाकिस्तान में है. यहां पर गुरद्वारा दरबार साहिब है. यह सिख धर्म के एक बेहद पवित्र स्थल है.

यहां जाने के लिए ही करतारपुर कॉरिडोर बनाया गया है. इसे कल यानी बुधवार को ही खोला गया था. यह एक वीजा फ्री कॉरिडोर है. यानी यहां जाने के लिए भारतीय नागरिकों को वीजा लेने की जरूरत नहीं पड़ती. बुधवार को एक 28 सदस्यीय जत्थे ने यहां का दौरा किया था. इसमें पंज प्यारे शामिल थे. ये लोग कल सुबह 11 बजे पाकिस्तान में दाखिल हुए थे.