देश के पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजयेपी के निधन पर पुरे प्रदेश में शोक की लहर है। हिमाचल में जगह उन्हें श्रधांजलि दी जा रही है। शिमला के माल रोड पर रोटरी टाउन में बीजेपी द्वारा शोक सभा का आयोजन किया गया। जिसमे प्रदेश के शिक्षा मंत्री सुरेश भारद्वाज , बीजेपी नेताओं नगर निगम के महापौर और कांग्रेस नेताओं सहित स्थानीय लोगो ने उनके चित्र पर पुष्प अर्पित कर उन्हें श्रधांजलि दी।
अटल बिहारी वाजयेपी का हिमाचल के साथ खासा लगाव था और उन्होंने कई रैलियां शिमला में भी की थी। शिमला में भी लोग उन्हें करीबी से जानते थे। शिक्षा मंत्री सुरेश भारद्वाज का कहना है कि अटल बिहारी ऐसे महान नेताओं में से थे जो जब भाषण देने के स्टेज पर आते थे तो सिंह गर्जना होती थी और कलम उठाते थे तो कविता बन जाती थी उन्होंने कहा की देश ही नही वे दुनिया के लिए शांति दूत के रूप में पहचाने जाते है।
1971 में जब शिमला समझोता हुआ था तो अटल ने इसका विरोध किया था और शेरे पंजाब पर फुतला फूंका था इसके शिमला जैन हाल , गंज बाज़ार , शेरे पंजाब , ग्रेंड होटल में भी उनोहने रैली संबोधित किया था। उन्होंने कहा की अटल के साथ बहुत साड़ी यादे जुडी है।
वहीं निधन की खबर सुनते ही पूरे मनाली में शोक की लहर दौड़ गई। पूरा गांव शोक में डूब गया। वाजपयी के दूसरे घर मनाली के प्रीणी गांव से 50 से अधिक लोग अंत्येष्टि में भाग लेने के लिए दिल्ली पहुंचे। ग्रामीणों ने भावुक होते हुए बताया कि अटल जी ने स्कूल में याद के तौर पर एक पौधा लगाया था। जून 2006 को अटल वाजपेयी अंतिम बार प्रीणी आए थे।