हिमाचल प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह के निधन पर हिमाचल सरकार ने उनके सम्मान में प्रदेश में 8 जुलाई से 10 जुलाई तक तीन दिन के राजकीय शोक की घोषणा की है। इस दौरान प्रदेश में किसी भी प्रकार का कोई भी सरकारी कार्यक्रम आयोजित नहीं किया जाएगगा। वहीं, आवश्यक सेवाओं से संबधित विभागों के अतिरिक्त राज्य सरकार के सभी कार्यालय, बोर्ड, निगम और स्वायत्त संस्थान 8 जुलाई को बंद रहेंगे।
हिमाचल प्रदेश के छह बार मुख्यमंत्री व पूर्व केंद्रीय मंत्री वीरभद्र सिंह का आज तड़के निधन हो गया है। वीरभद्र सिंह ने वीरवार सुबह 3.40 बजे अंतिम सांस ली। वीरभद्र सिंह अप्रैल माह से कोरोना पॉजिटिव आने के बाद से शिमला के आईजीएमसी में उपचाराधीन थे। वरिष्ठ कांग्रेस नेता के निधन से प्रदेश में शोक की लहर दौड़ गई है। वह करीब ढाई महीने से आईजीएमसी में दाखिल थे। सोमवार को अचानक तबीयत खराब होने के बाद उन्हें वेंटिलेटर पर रखा हुआ था। वह 87 साल के थे। आज दिन भर उनका पार्थिव शरीर उनके निजी आवास हॉलीलॉज में रखा जाएगा। कल सुबह ऐतिहासिक रिज मैदान पर उनका पार्थिव शरीर रखने के बाद कांग्रेस ऑफिस में रखा जाएगा व दोपहर 1 बजे रामपुर बुहशर ले जाया जाएगा जहां 10 जुलाई शनिवार को अंतिम संस्कार किया जाएगा।
पूर्व मुख्यमंत्री के निधन की खबर सुनकर सुमचे प्रदेश में शौक की लहर दौड़ गई। आम कार्यकर्ताओं से लेकर बड़े नेता हॉली लॉज का रुख करने लगे हैं। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर सहित राज्यपाल उनके अंतिम दर्शनों के लिए पहुंचे और उनको श्रदांजलि दी। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर सहित नेताओं ने कहा कि हिमाचल में वीरभद्र सिंह के जाने से एक युग का अंत हुआ है जिसकी कमी कभी पूरी नहीं की जा सकती है। उनके निधन के बाद प्रदेश में 3 दिन का राजकीय शौक घोषित किया गया है।
बता दें कि वीरभद्र सिंह छह बार हिमाचल के मुख्यमंत्री रहे। वीरभद्र सिंह यूपीए सरकार में भी केंद्रीय कैबिनेट मंत्री रह चुके हैं। उनके पास केंद्रीय इस्पात मंत्रालय रहा। इसके अलावा सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्योग मंत्रालय भी रह चुका है। वीरभद्र सिंह का जन्म 23 जून, 1934 को बुशहर रियासत के राजा पदम सिंह के घर में हुआ।