गुरूवार सुबह 10 बजे के क़रीब वीरभद्र सिंह को आख़िरकार सोनिया गांधी से मिलने का मौका मिल गया। सुबह वीरभद्र सिंह ने दिल्ली स्थित 10-जनपथ पर सोनिया गांधी से मुलाकात कर प्रदेश कांग्रेस की मौजूदा परिस्थिति सो वाकिफ कराया और अपनी शिकायत जाहिर की। वीरभद्र सिंह ने अपनी बात में सिर्फ पीसीसी अध्यक्ष सुक्खू को निशाने पर रखा।
सूत्रों के मुताबिक सुबह चली बैठक में मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह ने सोनिया गांधी से साफ-साफ कह दिया कि चूंकि वे पार्टी की सेवा के लिए हमेशा तत्पर रहे हैं। लेकिन, वर्तमान प्रदेश अध्यक्ष की कार्यशैली पार्टी हित के लिए सही नहीं है। ऐसे में उन्हें तत्काल प्रभाव से हटाया जाए।
बताया जा रहा है कि वीरभद्र सिंह ने अपनी नाराजगी जाहिर करने के अलावा विधानसभा चुनाव में फ्री-हैंड दिए जाने की मांग की। उन्होंने सोनिया गांधी को यह जताने की कोशिश की…कि अगर प्रदेश में कांंग्रेस की साख मज़बूत रखनी है तो उनके अलावा और कोई दूसरा विकल्प नहीं है।
हालांकि, सूत्र बता रहे हैं कि बातचीत सौहार्दपूर्ण माहौल में हुई। लेकिन बातचीत के तेवर से साफ था कि जो चिट्ठी में वीरभद्र सिंह ने लिखी है वह उस पर कायम हैं। माना जा रहा है कि कल सोनिया गांधी के राजनीतिक सलाहकार अहमद पटेल से मुलाकात के बाद स्थिति काफी हद तक साफ हो चुकी थी। लेकिन, सोनिया गांधी वीरभद्र सिंह के तेवर से खासी नाराज़ थीं। इस पूरे बातचीत में अहमद पटेल की भूमिका ख़ास रही है।
इस पूरे राजनीतिक घटनाक्रम पर नज़र दौड़ाया जाए तो वीरभद्र सिंह ने वही स्टैंड लिया है, जो पंजाब चुनाव से पहले कैप्टन अमिरिंदर सिंह ने लिया था। वीरभद्र सिंह कहीं ना कहीं यह दबाव बनाने में लगे हैं कि हिमाचल प्रदेश में कांग्रेस के भीतर कोई सुप्रीम लीडर है तो एकमात्र वही हैं। हालांकि, अभी इस पूरे प्रकरण में राहुल गांधी का विचार काफी अहम है। फिलहाल राहुल गांधी विदेश में हैं। जैसे ही वह भारत आते हैं स्थिति काफी साफ हो जाएगी।
इन सब के बाद मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह दिल्ली से शिमला के लिए रवाना हो चुके हैं। बताया जा रहा है कि मुख्यमंत्री बाया रोड़ दिल्ली से शिमला आ रहे हैं।