मंडी के करसोग में वन रक्षक की संदिग्ध हत्या मामले में अब राजनीतिक दल भी प्रदेश सरकार पर सवाल उठा रहे हैं। गुरुवार को बीजेपी के सांसद अनुराग ठाकुर ने कहा कि खनन माफिया, ड्रग माफिया जैसे काले धंधे प्रदेश में पहले से ही सक्रिय थे लेकिन अब वन माफिया भी व्यापक स्तर पर प्रदेश सरकार की शरण में काम कर रहा है।
हिमाचल में वन माफिया पहले बेशक मौन रहा। लेकिन, करसोग में वन रक्षक की मौत का ताजा मामला इसकी पुष्टि करता है कि वन माफिया भी प्रदेश में सक्रिय है। सरकार इस मामले में सोई हुई है लेकिन मामले की सीबीआई जांच होनी चाहिए। क्योंकि, देवभूमि के जंगल में जब वनकर्मी ही सुरक्षित नहीं तो वन कैसे सुरक्षित रहेंगे।
वन मंत्री दें इस्तीफा
ठाकुर ने कहा कि प्रदेश में कब से माफियाराज सक्रिय है लेकिन चार साल में मुख्य सरगना नहीं पकड़ा गया। इसकी एक मात्र वजह है कि वन विभाग के कर्मचारी ही मिलकर माफिया चला रहे है। ऐसे मामले में अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की गई। वन मंत्री को तो अधिकार ही नहीं है उन्हें पद से इस्तीफा दे देना चाहिए।