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पढ़ाई की आड़ में बच्चों को किताबें और वर्दी बेच रहे थे स्कूल, DC ने की सख्त कार्रवाई

गौरव, कुल्लू |

कुल्लू के निजी स्कूलों द्वारा मापदण्डों की उल्लंघना करने का जहां सिलसिला जारी है। वहीं डीसी कुल्लू यूनुस ने भी ऐसे स्कूलों को सबक सिखाने की ठान ली है। वह पिछले कुछ दिनों से अलग-अलग स्कूलों के औचक निरीक्षण कर रहे हैं। कुछ स्कूलों में अनियमितताएं और खामियां पाए जाने पर वह पहले ही कड़े आदेश जारी कर चुके हैं। इसी कड़ी के तहत बुधवार को डीसी ने कुल्लू में दो निजी स्कूलों को औचक निरीक्षण किया। जिनमें से एक स्कूल DAV पब्लिक स्कूल मौहल और दूसरा कैम्ब्रिज इंटरनेशनल पब्लिक स्कूल है। निरीक्षण के दौरान ये पाया गया कि ये दोनो स्कूल बच्चों को किताबें और वर्दी बिक्री कर रहे हैं और पढ़ाई की आड़ में मोटी कमाई कर रहे हैं।

डीसी ने इन स्कूलों पर कार्रवाई करते हुए स्कूलों के पुस्तक भंडार को तत्काल सील करके कार्रवाई करने के आदेश जारी किए हैं। साथ ही स्कूल को नियमों की इतनी बड़ी धज्जियां उड़ाने के लिए कारण बताओ नोटिस दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि जल्द से इस प्रकार की गतिविधियां बंद नहीं की गई तो ऐसे स्कूलों को बंद करने में वह कोई गुरेज नहीं करेंगे।

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अभिभावकों की शिकायतों को रखा जाएगा गोपनीय

यूनुस ने कहा कि यदि जुर्म करना पाप है तो इसे चुपचाप सहन करना उससे भी बड़ा पाप है। उन्होंने कहा कि अभिभावकों द्वारा अत्यधिक फीस वसूली, अनाधिकृत तौर पर फंड वसूली अथवा अध्यापकों व स्टॉफ को कम वेतन प्रदान किए जाने के संबंध में की जाने वाली शिकायतों को पूरी तरह से गोपनीय रखा जाता है। उन्होंने बच्चों अथवा अभिभावकों से निजी स्कूलों द्वारा की जा रही किसी भी प्रकार की अनियमितताओं की निःसंकोच शिकायत करने की अपील की है।

स्कूलों में छापेमारी से प्रबंधन में मचा हड़कंप

स्कूलों की मनमानी को लेकर जहां अभिभावक खुलकर न बोलने को विवश हैं, वहीं प्रशासन उनकी भावनाओं को भली-भांति समझ रहे हैं और अपने तरीके से कार्रवाई करते नजर आ रहे हैं। यूनुस ने एक बार फिर से निजी स्कूलों को सचेत करते देते हुए कहा कि बच्चे देश का भविष्य हैं और इनके जीवन से खिलवाड़ कतई बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। उन्होंने कहा कि लोगों की शिकायतों व समस्याओं पर गौर करना उनका कर्तव्य है और प्राथमिकता भी। उन्होंने फिर दोहराया कि निजी स्कूल निर्धारित मापदण्डों को पूरा करें अन्यथा किसी प्रकार की छूट प्रदान करने की कतई संभावना नहीं है।

डीसी ने बुधवार को ही बजौर के स्नो-वैली पब्लिक स्कूल का भी निरीक्षण किया। इस दौरान स्कूल में रिकार्ड की गई छोटी-छोटी कमियों को शीघ्र दूर करने के आदेश जारी किए। डीसी ने कहा कि स्कूल में बच्चों से बात की गई। उन्हें प्रदान की जाने वाली सुविधाओं का बारिकी से जायजा लिया गया। स्टॉफ से भी बातचीत की गई। उन्होंने कहा कि यदि किसी संस्थान में स्टॉफ को कम वेतन दिए जाने के संबंध में शिकायत आएगी तो उसे भी गंभीरतापूर्वक लिया जाएगा। डीसी ने स्कूलों को जायज फीस व फंड वसूलने तथा इसका पूरा लेखा-जोखा रिकार्ड करने की सलाह दी है ताकि किसी प्रकार की अनियमितता पाए जाने पर कार्रवाई से बचा जा सके।