हिमाचल पुलिस विभाग की तरफ से आज शिमला के ऐतिहासिक रिज मैदान पर युवाओं को नशा मुक्त बनाने के लिए दौड़ का आयोजन किया। लेकिन दौड़ के दौरान पुलिस विभाग ये भुल गया कि जिस रिज मैदान पर दौड़ आयोजित करवाई जा रही है वहां पर ट्रक तो क्या किसी छोटे वाहन तक ले जाने या खड़ा करने की इजाज़त नहीं है। बाकायदा रिज मैदान पर नो व्हीकल ज़ोन लिखा गया है। लेकिन दूसरों को नियम क़ायदे सिखाने वाला पुलिस विभाग शायद ये भूल गया और बड़े-बड़े पुलिस के ट्रक में समान लादा गया। यहां तक कि पुलिस का वाहन नो व्हीकल जोन में घूमते नज़र आए।
हैरानी की बात तो ये है कि ख़तरे की जद से गुज़र रहे रिज के टैंक तक कि परवाह विभाग ने नही की। दरअसल रिज़ मैदान के नीचे 10 लाख गैलन की क्षमता के वाटर टैंक्स है। यानी लगभग 45 लाख लीटर से ज़्यादा पानी इन टैंकों में स्टोर होता है जो अधिकतर शिमला की प्यास बुझाने का काम करता है। माना जाता है कि रिज़ के टैंकों में सामान्य दिनों में अमूमन 8 से 10 फुट पानी स्टोर रहता है। बाबजुद इसके बताइए, नीचे 45 लाख लीटर से ज्यादा पानी और उसके ऊपर बड़ी-बड़ी रैलियां होती हैं, सभायें होती हैं, बड़े-बड़े समारोह होते हैं, जलसे होते हैं, समर फेस्टिवल होता है। कोई भी सरकार हो, कोई भी बड़ा नेता हो रिज़ पर अपना समारोह करना या अपनी रैली करना शान समझता है। लेकिन किसी को इन बूढ़े पानी के टैंकों की परवाह नहीं है।
1880 में ब्रिटिश अफसरों ने जब इन टैंकों को बनवाया था उस समय भी रिज़ मैदान के ऊपर एक समय लगभग 150 लोगों को ही चलने की इजाज़त थी। ऐसा इसलिए था क्योंकि रिज़ के नीचे जो टैंक है, उस पर दबाव न पड़े। लेकिन अब तो यहां पर्यटन सीज़न में हज़ारों लोग जुटते हैं। अब यदि नियम बनाने वाले खुद नियम तोड़ेंगे तो सुरक्षा भगवान भरोसे ही होगी।