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सूबे के हितों को बेचने वाली भाजपा आज बहा रही घड़ियाली आंसू: कांग्रेस प्रवक्ता

नवनीत बत्ता |

जब हिमाचल प्रदेश का गठन हो रहा था तो उस वक्त की भाजपा जिसे जनसंघ पार्टी के नाम से जाना जाता था हिमाचल के गठन का विरोध कर रही थी। प्रदेश में जगह जगह हिमाचल गठन के विरोध में प्रदर्शन किए जा रहे थे। "स्टेटहुड मारो ठुड्ड" के नारे लगाए जा रहे थे। हिमाचल को पंजाब में मिलाने का आंदोलन किया जा रहा था। अगर उस समय के कांग्रेस नेता डॉक्टर यशवंत सिंह परमार और प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी अहम भूमिका नहीं निभाते तो हिमाचल अस्तित्व में नहीं आता। ये बात भाजपा के प्रवक्ता दीपक शर्मा ने कही। 

प्रवक्ता ने कहा कि आज भाजपा सरकार स्टेटहुड के नाम पर घड़ियाली आंसू बहा कर राजनीतिक रोटियां सेंक रही है। जिन कांग्रेस के नेताओं ने हिमाचल प्रदेश को बनाया उनको भुला कर अपमान कर रही है। भाजपा के नेताओं को हिमाचल गठन के विरोध की पूरी कहानी शांता कुमार जी से जाकर सुननी चाहिए जिन्होंने काले बिल्ले लगा कर हिमाचल के गठन का विरोध किया था। भाजपा के युवा नेताओं को शांता कुमार जी के पास जा कर इतिहास की जानकारी लेनी चाहिए और की गई गलतियों के लिए प्रदेश की जनता से भाजपा नेताओं को सार्वजनिक माफी मांगनी चाहिए।

कांग्रेस नेता ने कहा कि आज भाजपा हिमाचल गठन के नाम पर इसके गठन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले और हिमाचल का निर्माण करने वाले नेताओं का अपमान कर रही है। हिमाचल को मोदी ,अमित शाह ने नहीं बनाया। इसको बनाने और संवारने में  भारतरत्न पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी, डॉक्टर यशवंत सिंह परमार, राजीव गांधी, ठाकुर राम लाल और आधुनिक हिमाचल के निर्माता वीरभद्र सिंह का विशेष योगदान रहा है। अतः इन नेताओं के प्रति राज्य सरकार को कृतघ्न होना चाहिए। 

अगर हिमाचल गठन के समारोह पर सरकार ईमानदार और गम्भीर है तो उसे इन नेताओं का सम्मान करना चाहिए लेकिन सरकार इन नेताओं को भूल कर मोदी और अमित शाह के गुणगान पर प्रदेश के संसाधनों की फ़िज़ूलख़र्ची कर रही है। दीपक शर्मा ने कहा कि प्रदेश कांग्रेस कमेटी हिमाचल गठन के इतिहास को प्रदेश के छात्रों-युवाओं को बताने के उद्देश्य से विशेष अभियान चलाएगी ताकि भाजपा सरकार द्वारा इस सम्वन्ध में हिमाचल के इतिहास को झुठलाने के षड़यंत्र का पर्दाफाश हो सके और आज का युवा हिमाचल निर्माण में अहम भूमिका निभाने वाली प्रतिभाओं का सम्मान कर सके।