चैत्र नवरात्र के लिए हिमाचल के शक्तिपीठों को रंग-बिरंगे फूलों और लाइटों से सजाया जा रहा है।
प्रदेश के शक्तिपीठ कल से 24 घंटे के लिए खुले रहेंगे। मंगलवार से शुरू होने वाले चैत्र नवरात्र को लेकर सभी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। विश्व विख्यात शक्तिपीठ ज्वालामुखी और चिंतपूरणी मंदिर के कपाट कल से सुबह चार बजे खोल दिए जाएंगे।
मेले की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए सभी गतिविधियों पर ड्रोन से नजर रखी जाएगी।
हालांकि मंदिर में ढोल-नगाड़ा और नारियल पर प्रतिबंध रहेगा। ज्वालामुखी और चिंतपूरणी शक्तिपीठ को 24 घंटे दर्शनों के लिए खुला रखा जाएगा। ज्वालामुखी मंदिर के पुजारी अनिल शर्मा ने बताया कि नवरात्र पर ज्वाला माई की सुबह 4 बजे स्नान, श्रृंगार और मंगल आरती की जाएगी।
वहीं, कांगड़ा का बज्रेश्वरी मंदिर सुबह चार से रात 9 बजे तक खुला रहेगा।
मंदिर के पुजारी राम प्रसाद ने बताया कि नवरात्र के दौरान शतचंडी महायज्ञ किया जाएगा।
इसके अलावा बज्रेश्वरी मंदिर कांगड़ा में 50 पुलिस जवान और 30 से अधिक होमगार्ड सेवाएं देंगे।
श्री चामुंडा नंदिकेश्वर धाम मंदिर में महायज्ञ के दौरान शतचंडी दुर्गा पाठ, रुद्राभिषेक, सवा लाख गायत्री जाप, रामायण पाठ, देवी भागवत पुराण पाठ, दुर्गा बीज मंत्र जाप, प्रतिदिन गणपति, दुर्गा, नवग्रह, कलश एवं मंडप में स्थापित देवों का पूजन किया जाएगा।
15 अप्रैल को निशीथ पूजन किया जाएगा, जिसमें मां चामुंडा को 56 भोग अर्पित किए जाएंगे। वहीं, 17 अप्रैल को दोपहर 12 बजे यज्ञ की पूर्णाहुति होगी। मां नयना देवी मंदिर को रात 12 बजे से दो बजे तक बंद रखा जाएगा। इन तीन घंटों में मां का श्रृंगार और स्नान एक साथ किए जाएंगे। इसके अलावा मां को विशेष पकवानों के भोग लगाए जाएंगे।