<p>नाहन में चाइल्ड हेल्पलाइन की मदद से 9 प्रवासी बच्चों को एक सरकारी स्कूल में दाखिला मिला है। इससे इन बच्चों की जिन्दगी में उम्मीद की एक नई किरण जगी है। दरअसल, जो हाथ कभी कबाड़ बीनने के लिए उठते थे, अब उन हाथों में किताबें होगी और पीठ पर बोझा नहीं, बल्कि स्कूल बैग दिखेगा।</p>
<p>मुख्य शिक्षक लाल सिंह ने बताया कि जिन प्रवासी बच्चों ने स्कूल में दाखिला लिया है वह पढ़ाई को लेकर बेहद उत्सुक हैं। बच्चों के परिजन सड़क किनारे बैठ ओजार बनाने का काम करते हैं। चाइल्ड लाइन ने डीसी सिरमौर की मदद ली और उनके निर्देशों के बाद शिक्षा विभाग ने प्रवासी मजदूरों के बच्चों को दाखिला दिया। ऐसे में कभी स्कूल का सामना न करने वाले प्रवासी बच्चों के लिए चाइल्ड लाइन एक मिसाल बनकर उभरी है। कामकाज के सिलसिले में नाहन में आईटीआई के समीप सड़क किनारे रहने वाले प्रवासी मजदूरों को जागरूक करने के बाद चाइल्ड लाइन इस दिशा में सफल हुई।</p>
<p>स्कूल में दाखिले को लेकर प्रवासियों बच्चे और उनके अभिभावक भी बेहद खुश नजर आ रहे हैं। बच्चों ने कहा कि स्कूल में दाखिला पाकर वह अच्छा अनुभव कर रहे हैं। साथ उनके अभिभावक भी बेहद खुश हैं। अभिभावकों ने उम्मीद जताई कि अब उनके बच्चों का भविष्य सुनहरा बनेगा। स्कूल में पहले 79 बच्चे शिक्षा ग्रहण कर रहे थे, लेकिन केंद्र मुख्य शिक्षक लाल सिंह और अन्य शिक्षकों ने घर-घर जाकर बच्चों को स्कूल में दाखिला लेने के लिए प्रेरित किया। इसी का नतीजा है कि आज स्कूल में 5वीं तक 104 बच्चे शिक्षा ग्रहण कर रहे हैं, जबकि नर्सरी क्लास में यह संख्या 32 पहुंच गई है। </p>
NDA Victory in Maharashtra: भारतीय जनता पार्टी की जिला उपाध्यक्ष उषा बिरला ने महाराष्ट्र में…
Shimla Prison Fight: शिमला के कैथू जेल में शनिवार को दो कैदियों के बीच कंबल…
Free health camp Sujanpur: प्रयास संस्था के माध्यम से पूर्व केंद्रीय मंत्री एवं सांसद अनुराग…
Blog: Shivanshu Shukla Kangra Airport flight disruptions: देश विदेश के सैलानियों के लिए आकर्षण और…
DigiLocker issues for disabled: मंडी के बाबा भूतनाथ मंदिर परिसर में शनिवार को हिमालयन दिव्यांग…
Himachal Technical University convocation: हिमाचल प्रदेश तकनीकी विश्वविद्यालय, हमीरपुर का पांचवां दीक्षांत समारोह राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी…