मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने आज मशोबरा में आयोजित दो दिवसीय जिला स्तरीय सिपुर मेले के समापन समारोह की अध्यक्षता की। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार ग्रामीण क्षेत्रों की आवश्यकताओं से भली-भांति परिचित है और ग्रामीण अर्थव्यवस्था को सुदृढ़ करने के लिए शीघ्र ही एक नई योजना शुरू करेगी। उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी ने विधानसभा चुनावों के दौरान सरकार द्वारा दुग्ध उत्पादकों से दस लीटर गाय का दूध 80 रुपये प्रति लीटर तथा भैंस का दूध 100 रुपये प्रति लीटर प्रतिदिन खरीदने का वायदा किया था और सरकार इस योजना को धरातल पर उतराने की दिशा में ठोस कदम उठा रही है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार ने 1.36 लाख एनपीएस कर्मचारियों को पुरानी पेंशन प्रदान कर कांग्रेस प्रतिज्ञा पत्र की पहली गांरटी को अपनी पहली ही मंत्रिमंडल बैठक में पूरा किया। इसके साथ ही इन्दिरा गांधी महिला सम्मान निधि के तहत प्रथम चरण में प्रदेश की 2.31 लाख महिलाओं को 1500 रुपये प्रतिमाह प्रदान करने का निर्णय लेकर अपनी दूसरी गारंटी भी पूरी की है। उन्होंने कहा कि वर्तमान प्रदेश सरकार को पूर्व की भाजपा सरकार से कमजोर अर्थव्यवस्था विरासत में मिली है और आज प्रत्येक प्रदेशवासी पर लगभग 93 हजार रुपये का ऋण है।
उन्होंने कहा कि वर्तमान प्रदेश सरकार व्यवस्था परिवर्तन के ध्येय से कार्य करते हुए प्रदेश की अर्थव्यवस्था को मजबूत करने के लिए ठोस कदम उठा रही है और आगामी दस वर्षों में हिमाचल देश के सबसे समृद्ध राज्य में शुमार होगा। उन्होंने प्रदेशवासियों से इस लक्ष्य को हासिल करने में सहयोग का आह्वान भी किया। उन्होंने आश्वस्त किया कि कमजोर आर्थिक स्थिति के बावजूद प्रदेश में विकास कार्यों में कमी नहीं आने दी जाएगी और प्रदेश सरकार राजस्व बढ़ाने के लिए हरसंभव कदम उठा रही है।
ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि गरीब परिवारों से संबंधित बच्चों को उच्च शिक्षा के लिए एक प्रतिशत ब्याज दर पर शिक्षा ऋण उपलब्ध करवाने के लिए शीघ्र ही एक नई योजना शुरू की जाएगी। इसके अतिरिक्त मुख्यमंत्री सुख आश्रय योजना के अंतर्गत निराश्रित एवं अनाथ बच्चों को राज्य सरकार ने ‘चिल्ड्रन ऑफ द स्टेट’ के रूप में अपनाया है। इस योजना के अंतर्गत उन्हें निःशुल्क शिक्षा उपलब्ध करवाने सहित वर्ष में एक बार भ्रमण पर ले जाने, चार हजार रुपये जेब खर्च एवं गृह निर्माण के लिए वित्तीय सहायता का प्रावधान किया गया है। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार ने कारावास मंे बंदियों को हिमकेयर योजना के अंतर्गत लाने का निर्णय लिया है और इसके प्रीमियम की किस्त भी सरकार द्वारा वहन की जाएगी।
कसुम्पटी विधानसभा क्षेत्र में किए गए कार्यों के लिए अनिरुद्ध सिंह की प्रशंसा करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि उनके लोगों से जुड़ाव एवं अनुभव को देखते हुए ही उन्हें प्रदेश मंत्रिमंडल में शामिल कर ग्रामीण विकास विभाग का जिम्मा सौंपा गया है। उन्होंने कहा कि 75 वर्षों में प्रथम बार कसुम्पटी विधानसभा क्षेत्र को मंत्रिमंडल में स्थान प्राप्त हुआ है। इस अवसर पर उन्होंने लोगों की सुविधा के दृष्टिगत मशोबरा से सिपुर सड़क को एक माह मंे पक्का करने की घोषणा भी की। मुख्यमंत्री ने सिपुर मंदिर मंे शीश नवाया और मेला आयोजन समिति की स्मारिका का विमोचन भी किया।
इससे पूर्व मशोबरा पहुंचने पर स्थानीय लोगों ने मुख्यमंत्री का भव्य स्वागत किया। ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज मंत्री अनिरूद्ध सिंह ने मुख्यमंत्री का स्वागत करते हुए कहा कि इस मेले में दूरस्थ क्षेत्रों से लोग स्थानीय देवता का आशीर्वाद प्राप्त करने पहुंचते है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री शिमला जिला की भौगोलिक स्थितियों से भली-भांति परिचत हैं और क्षेत्र के विकास के लिए ठोस कदम उठाए जा रहे हैं। उन्होंने कसुम्पटी विधानसभा क्षेत्र में सड़कों के रखरखाव के लिए दस करोड़ रुपये का प्रावधान करने के लिए मुख्यमंत्री का आभार भी व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार सड़क, स्वास्थ्य और शिक्षा ढांचे को सुदृढ़ करने को सर्वोच्च प्राथमिकता प्रदान कर रही है।
इस अवसर पर सुप्रसिद्ध लोक गायक कुलदीप शर्मा ने प्रभावी प्रस्तुति दी। इस अवसर पर हिमाचल प्रदेश राज्य वन निगम के उपाध्यक्ष केहर सिंह खाची, पंचायत समिति शिमला की अध्यक्ष चन्द्रकांता, मुख्यमंत्री के ओएसडी गोपाल शर्मा एवं रितेश कपरेट, अतिरिक्त उपायुक्त शिवम प्रताप सिंह सहित अन्य गणमान्य उपस्थित थे।