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ऐतिहासिक आइस स्केटिंग रिंक का ट्रायल हुआ सफल, फिलहाल लगेंगे सुबह के सेशन

डेस्क |

राजधानी शिमला के ऐतिहासिक आइस स्केटिंग रिंक में मंगलवार सुबह स्केटिंग का ट्रायल सफल रहा. सुबह साढ़े आठ से नौ बजे तक आइस स्केटिंग रिंक के संचालकों, सदस्यों और पदाधिकारियों ने स्केटिंग की. आधे घंटे तक स्केटिंग का ट्रायल किया गया. ट्रायल सफल रहने के बाद बुधवार से रिंक में सदस्य आइस स्केटिंग का लुत्फ़ उठा सकेंगे. स्मार्ट सिटी के कार्य के चलते रिंक आधे से भी कम रह गया है. अभी फिलहाल सुबह के सेशन लगेंगे.

आइस स्केटिंग क्लब के सचिव पंकज प्रभाकर और अन्य पदाधिकारियों ने बताया कि बुधवार सुबह के स्केटिंग सत्र को नियमित रूप से शुरू किया जाएगा. उन्होंने कहा कि इस बार उम्मीद है कि गत वर्ष की अपेक्षा अधिक सेशन आयोजित किये जायें. पंकज प्रभाकर ने कहा कि स्मार्ट सिटी के चलते रिंक का आकार छोटा हो गया है. बावजूद इसके 20 दिनों की मेहनत के बाद मैदान को स्केटिंग के लिए तैयार कर दिया गया है.

अभी फिलहाल सुबह के सेशन ही आयोजित किये जायेंगे. पंजीकरण की प्रक्रिया भी बुधवार से प्रारंभ हो जाएगी . 16 वर्ष से कम आयु वर्ग के लिए 1800 रुपये तथा 16 वर्ष से अधिक के लिए 3000 रुपये शुल्क रखा गया है.

आपको बता दें कि शिमला के लक्कड़ बाजार में स्थित आइस स्केटिंग रिंक एशिया का पहला ओपन एयर रिंक है जहां आज भी प्राकृतिक रूप से बर्फ जमाई जाती है. इस रिंक को 1920 में अंग्रेजों ने बनाया था. तब से लेकर हर साल यहां पर सर्दियों में प्राकृतिक रूप से बर्फ जमा कर स्केटिंग करवाई जाती है.