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मुर्गे में दिखें बर्ड फ्लू के लक्षण तो डायल करें टोल फ्री नंबर 1077

मृत्युंजय पुरी |

प्रदेश में अभी कोरोना का कहर टला भी नहीं था कि पौंग झील में बर्ड फ्लू से प्रवासी पक्षियों की मौत ने फिर प्रदेश को हिला कर रख दिया। प्रवासी पक्षियों की मौत का आंकड़ा दिन-व-दिन बढ़ता जा रहा है और अब ये आंकड़ा 2 हजार के पार पहुंच गया है। भोपाल की पशु रोग संस्थान की रिपोर्ट में इस वायरस की पुष्टि होने के बाद हिमाचल प्रदेश का वन्य प्राणी विंग खासा सतर्क हो गया है। इस विंग ने पड़ोसी पंजाब, हरियाणा, राजस्थान, जम्मू कश्मीर, उत्तराखंड दिल्ली समेत कई राज्यों को अलर्ट जारी किया है। इस अलर्ट में कहा गया है कि वे अपने राज्यों के प्रवासी पक्षियों की गतिविधियों पर नजर रखें। साथ ही किसी भी मुर्गे आदि में बर्लड प्लू के लक्षण धिखाई देते हैं तो तुरंत फ्री नंबर 1077 पर डायल कर विभाग को सूचित करें।

प्रदेश में पाया गया बर्ड फ्लू सामान्य फ्लू नहीं है, यह पक्षियों से इंसान में भी फैल सकता है। राज्य सरकार ने इस संबंध में विदेश मंत्रालय को भी रिपोर्ट भेजी है। इसमें उन देशों को भी सूचना देने की बात कही गई है, जहां से प्रवासी पक्षी हिमाचल आते हैं। इनमें प्रमुख तौर पर सेंट्रल एशिया, साइबेरिया, मंगोलिया, यूरोप के कई देश शामिल है इन देशों के प्रवासी पक्षी अक्टूबर-नवंबर में हिमाचल आने शुरू हो जाते हैं। मृत पक्षियों को खत्म करने के लिए कर्मचारियों को पीपीई किट मास्क और ग्लब्स पहनने होंगे। इसके अलावा 10 किलोमीटर के दायरे में कांगड़ा जिले में पोल्ट्री फॉर्म हटाया जाएगा।

उधर पशुपालन विभाग भी अलर्ट हो गया है। विभाग के अधिकारियों को सरकार ने कड़े निर्देश जारी किए हैं। इनमें कहा गया है कि वह बर्ड फ्लू को इंसान में फैलने से रोकने के कड़े कदम उठा। वहीं, इस संबंध में डीसी कांगड़ा ने अपने ऑफिस में वन्य प्राणी और पशुपालन विभाग के अधिकारियों के साथ बैठक में कहा कि पौंग डैम और उससे सटे क्षेत्र में पशुओं को छोड़ने और खेतीबाड़ी आदि जैसी गतिविधियों पर भी रोक लगाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि इन निर्देशों को न मानने वालों पर 50 हजार रूपये का जुर्माना लगाया जाएगा। ज्वाली, देहरा इंदौरा, फतेहपुर इपमंडलों के निजी पोल्ट्री फार्मों के संचालकों और मीट विक्रेता भी पशुओं, पक्षियों आदि को बाहरी क्षेत्रों में न बेचें।