डीजीपी संजय कुंडू ने कहा कि हिमाचल प्रदेश पुलिस राज्य में कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए पांच प्रमुख क्षेत्रों में कार्य कर रही है। कोरोना कर्फ्यू हटते ही हिमाचल में पर्यटकों की बाढ़ सी आ गई है। हिमाचल में रोजाना 18 हज़ार गाड़ियां आ रही हैं। अकेले रोहतांग टनल में रोज़ाना 7 हज़ार गाड़ियां आई। पर्यटन हिमाचल की आर्थिकी की मुख्य रीढ़ है लेकिन प्रदेश में पर्यटकों द्वारी की जा रही गुंडागर्दी को पुलिस सहन नहीं करेगी।
उन्होंने कहा कि आने वाले समय में अपराधों से निपटने के लिए विशेष प्रशिक्षित जवानों की जरूरत महसूस हो रही है। प्रदेश पुलिस महिला और बच्चों के खिलाफ होने वाले अपराधों, नशा व मादक पदार्थ, संगठित अपराधों, यातायात सुरक्षा और संगीन अपराध जैसे मामलों से सख्ती से निपट रही है।
डीजीपी संजय कुंडू ने बताया कि नशे के सौदागरों पर नकेल कसने के लिए पुलिस द्वारा पहली बार ईडी के सहयोग से अपराधियों की संपत्ति जब्त की गई। इस सख़्ती के नतीजे सामने आ रहे हैं। ऐसे अपराधी अब डर के मारे नशे के धंधे से खुद को दूर कर रहे हैं। प्रदेश में सड़क दुर्घटनाओं को रोकने के लिए पुलिस द्वारा सार्थक कार्य किए जा रहे हैं। अब पुलिस मात्र वाहनों के कागज की जांच नहीं करती बल्कि दुर्घटनाओं के असली कारणों जैसे नशे में गाड़ी चलाने, ट्रैफिक नियमों का पालन न करने, तेज गति के जैसे नियमों पर सबसे ज्यादा कार्यवाही की जा रही है। परिणामस्वरूप अब सड़क दुर्घटनाओं में भी काफी कमी देखी जा रही है।
पत्रकारों से बातचीत में संजय कुंडू ने बताया कि साइबर क्राइम के मामले प्रदेश में बढ़ते जा रहे हैं और आने वाले समय में प्रदेश पुलिस को इसके लिए और अधिक तैयारियां की जरूरत है जिसके लिए प्रदेश पुलिस प्रयास कर रही है। उन्होंने बताया कि प्रदेश में होने वाली आपदाओं से निपटने के लिए आगामी 6 माह में SDRF बना दी जाएगी। शिमला, मंडी और कांगड़ा में SDRF खड़ी की जा रही है। जिनको NDRF में प्रशिक्षण दिया जाएगा।