धर्मशाला, नगरोटा: पर्यटन निगम के अध्यक्ष कैबिनेट रैंक आरएस बाली ने कहा कि राज्य सरकार संसाधन बढ़ाने की दिशा में अनेक पग उठा रही है। जल प्रदेश का अमूल्य संसाधन है और इससे संबंधित उचित अधिकार प्राप्त करने के लिए राज्य सरकार निरन्तर प्रयासरत है। पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए आधारभूत ढांचे को सुदृढ़ किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि कांगड़ा को पर्यटन राजधानी बनाने के लिए जिला में 3000 करोड़ रुपए की धनराशि खर्च की जा रही है, जिससे इस क्षेत्र में आर्थिक समृद्धि आएगी। जिला के ढगवार में 250 करोड़ रुपए की लागत से आधुनिक मिल्क प्रोसेसिंग प्लांट स्थापित किया जा रहा है। सोमवार को नगरोटा बगबां विश्राम गृह में हटवास, घोड़व और भुनेड पंचायत के लोगों की शिकायतें सुनने के उपरांत कहा कि वर्तमान सरकार की आम जनमानस की समस्याओं का त्वरित समाधान सुनिश्चित करने के लिए हरसंभव प्रयास कर रही है तथा इसी के दृष्टिगत सरकार गांव के द्वार कार्यक्रम भी आरंभ किया गया है।
उन्होंने कहा कि सरकार की नीतियों एवं कार्यक्रमों को जन-जन तक पहुंचाया जाएगा ताकि अधिक से अधिक लोग सरकार की कल्याणकारी योजनाओं का लाभ उठा सकें। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने अपने एक वर्ष के कार्यकाल के दौरान अपनी दस गारंटियों में से तीन को पूरा कर दिया गया है। अपनी पहली गारंटी को पूरा करते हुए प्रदेश की आर्थिक बदहाली के बावजूद राज्य सरकार ने 1.36 सरकारी कर्मचारियों को पुरानी पेंशन योजना बहाल की, ताकि उन्हें बुढ़ापे का सहारा मिले। इसके साथ ही शिक्षा के क्षेत्र में भी व्यापक व्यवस्था परिवर्तन किया जा रहा है। अगले शैक्षणिक सत्र से सभी सरकारी स्कूलों में पहली कक्षा से अंग्रेजी माध्यम में पढ़ाई शुरू की जाएगी तथा 300 मीटर के दायरे में आने वाले स्कूलों का क्लस्टर बना कर, वहां पर्याप्त अध्यापक और अन्य सुविधाएं उपलब्ध करवाई जाएंगी।
उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने तीसरी गारंटी को पूरा करते हुए 680 करोड़ रुपए की राजीव गांधी स्वरोजगार स्टार्ट-अप योजना का पहला चरण आरंभ कर दिया गया है। इसके तहत युवाओं को आय का साधन प्रदान करने के लिए ई-टैक्सी खरीद पर 50 प्रतिशत सब्सिडी का प्रावधान है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार 100 किलोवाट से लेकर 1 मेगावाट तक की सोलर परियोजनाओं की स्थापना पर युवाओं को 40 प्रतिशत सब्सिडी प्रदान करने की एक योजना जल्द ही शुरू करने जा रही है। किसानों को खेती के लिए प्रोत्साहित करने के दृष्टिगत, दूध का उचित मूल्य प्रदान करने के लिए वर्तमान सरकार निरंतर प्रयास कर रही है।
उन्होंने कहा कि वर्तमान प्रदेश सरकार के एक वर्ष के प्रयासों के परिणामस्वरूप हिमाचल प्रदेश की अर्थव्यवस्था में 20 प्रतिशत का सुधार आया है। उन्होंने कहा कि हिमाचल प्रदेश को आत्मनिर्भर बनाने के लिए आज से पहले किसी भी सरकार ने नहीं सोचा। उन्होंने कहा कि वर्तमान सरकार नियमों में बदलाव कर व्यवस्था में परिवर्तन कर रही है और कड़े फैसले ले रही है, जिसके आने वाले समय में सुखद परिणाम सामने आयेंगे।
इस अवसर पर एसडीएम मुनीष शर्मा, बीडीओ राजेश सिंह, अधिशासी अभियंता पीडब्ल्यूडी सुरेश वालिया, अधिशासी अभियंता आईपीएच विवेक ठाकुर, अधिशासी अभियंता बिजली विभाग कमल चैधरी, ब्लॉक कांग्रेस उपाध्यक्ष प्रताप रियाड़, महासचिव एवं उपप्रधान अजय सिपहिया , पूर्व प्रधान प्रेम राणा, चंचला देवी प्रधान, उपप्रधान अनमोल चैधरी, पूर्व प्रधान स्वरूप चैहान, बुनेड पूर्व प्रधान हंस राज चैधरी और ग्रामीण मौजूद रहे।
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