देश का वीर जवान सरहद पर देश की रक्षा करते करते अमर हो जाता है. लेकिन उस शहीद सैनिक का परिवार रोज शहादत के आंसू रोता है, सरकार उसके परिवार को रुपया-पैसा, मान सम्मान, नौकरी,सांत्वना, सब कुछ दे सकती है, अगर कुछ नहीं दे सकती तो उस मां को बेटे को, उस पत्नी को पति ,उस बहन को भाई जो शहादत को हंसते-हंसते गले लगा गया. यह बात पूर्व मुख्यमंत्री प्रेम कुमार धूमल ने मंगलवार को सुजानपुर विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले पंचायत टौणी देवी में कारगिल विजय दिवस के मौके पर देश के वीर सैनिकों को याद करते हुए कहीं.
उस समय जम्मू कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला उन्हें एयरपोर्ट पर रिसीव करने पहुंचे उन्होंने एक बात कही थी कि में इस राज्य का मुख्यमंत्री हूं इसलिए मुझे कारगिल जाना है लेकिन पहली बार ऐसा देख रहा हूं कि देश का प्रधानमंत्री और किसी राज्य का मुख्यमंत्री इस विपदा की घड़ी में सैनिकों के साथ उनके युद्ध स्थल पर खड़े होकर उनका हौसला बढ़ा रहे हैं. धूमल ने कहा कि देश के सैनिकों का कर्ज कोई सरकार कोई व्यक्ति विशेष नहीं चुका सकता, बॉर्डर पर सैनिक है तो देश सुरक्षित है, देश सुरक्षित है तो हम और आप सुरक्षित हैं, हम घरों में आराम से सोते हैं क्योंकि देश की सरहद की रक्षा हमारे देश के वीर सैनिक जवान करते हैं.
आज कारगिल विजय दिवस के मौके पर देश के वीर शहीद सैनिकों के परिवारों को और ऐसे जांबाज सैनिकों को सम्मानित करने का मौका मिला है जो उस युद्ध मे शामिल हुए थे. इस मौके पर पूर्व मुख्यमंत्री ने कारगिल युद्ध और 1971 युद्ध के हीरो शहीद सैनिकों के परिवारों को कारगिल विजय दिवस के मौके पर सम्मानित किया इससे पहले कार्यक्रम स्थल पर पहुंचे पूर्व मुख्यमंत्री का पूर्व सैनिकों उनके परिवारिक सदस्यों सहित भाजपा मंडल पदाधिकारियों ने गर्मजोशी के साथ स्वागत किया मंच स्थल तक पहुंचते-पहुंचते कार्यक्रम स्थल जय जवान-जय किसान भारत माता की जय वंदे मातरम के उद्घोष के साथ गूंज उठा। इस मौके पर पूर्व मुख्यमंत्री ने शहीद वीर सैनिकों को श्रद्धा सुमन अर्पित किए उन्हें श्रद्धांजलि देते हुए उन्हें याद किया.
इस मौके पर कैप्टन सुरेश रंजीत सिंह सुरेश कुमार अशोक कुमार शक्ति चंद कालिदास सूबेदार विधि चंद ओंकार चंद मेलाराम विशेष रूप से उपस्थित रहे और कारगिल युद्ध के हीरो रहे राकेश कुमार की माता लीला देवी हवलदार कश्मीर सिंह के पुत्र सुरेंद्र कुमार दिनेश कुमार के पुत्र शिवम हवलदार राज कुमार के भाई किशन देव सुमित कुमार की माता सत्या देवी सहित परिजनों को सम्मानित किया गया. वहीं, 1971 युद्ध के हीरो रहे जैसी राम के पुत्र सुनील कुमार, अनिल चौहान के पिता ध्यान सिंह, विधीचंद की पत्नी मलका देवी परशु राम की बहू उमा देवी कैप्टन करमचंद के भाई बलि राम, चूहड़ सिंह के पोते कुलवंत सिंह सहित परिजनों को सम्मानित किया गया.
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