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मेनका को महंगा पड़ा मुसलमानों पर विवादित बयान, चुनाव आयोग ने जारी किया नोटिस

समाचार फर्स्ट डेस्क |

केंद्रीय मंत्री मेनका गांधी मुसलमानों पर दिए गए अपने विवादित बयान को लेकर मीडिया की सुर्खियों में हैं। चुनाव आयोग इस बयान के लिए मेनका को नोटिस भेज चुका है और विपक्षी पार्टियां लगातार उन पर हमला बोल रही हैं।

मेनका ने शुक्रवार को सुल्तानपुर में एक चुनावी रैली में चेतवानी भरे लहजे में कहा था कि मुसलमानों के बगैर मेरी जीत होगी तो मुझे बहुत अच्छा नहीं लगेगा।

केंद्रीय मंत्री ने कहा था, “जीत तो मेरी पहले हो चुकी है। मैं मुस्लिमों के समर्थन से जीतना चाहती हूं। अगर मुसलमानों के समर्थन के बगैर मेरी जीत होगी तो मुझे अच्छा नहीं लगेगा।”

उन्होंने कहा था कि ‘दिल खट्टा हो जाता है जब कोई मुसलमान काम लेकर आता है। तब मैं सोचती हूं कि रहने ही दो, क्योंकि नौकरी भी तो आखिर सौदेबाजी होती है। हम महात्मा गांधी की छठी औलाद तो हैं नहीं कि देते ही जाएंगे और इलेक्शन में मार खाते जाएंगे।”

‘आधे-अधूरे ढंग से पेश हुआ बयान’

हालांकि मेनका गांधी ने बयान पर विवाद बढ़ता देखकर मीडिया में इसकी सफाई दी। मेनका ने कहा कि उनके बयान को आधे-अधूरे ढंग से पेश किया गया। उन्होंने कहा कि मैंने खुद अपने अल्पसंख्यक सेल की एक मीटिंग बुलाई थी। आप सभी जानते हैं कि इतने सालों में अल्पसंख्यक लोगों को बहुत चाहती हूं।

उन्होंने कहा, “मैंने बहुत खुशी के साथ बोला था कि मैं जीत रही हूं। अगर आप इस जीत का हिस्सा बनेंगे तो आप इस दाल का छौंका बनेंगे, जो मुझे अच्छा लगेगा। आप पूरा भाषण देखिए तो आपको पता चलेगा कि वह प्यार भरा था।”

सुल्तानपुर-पीलीभीत से है पुराना नाता

मालूम हो कि मेनका गांधी के पति संजय गांधी का कार्यक्षेत्र सुल्तानपुर ही रहा है। ये उस समय अमेठी संसदीय क्षेत्र में आता था। मेनका इस बार सुल्तानपुर से भाजपा के टिकट पर लोकसभा चुनाव लड़ रही हैं। इससे पहले वो पीलीभीत से छह बार सांसद रह चुकी हैं।