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कल रखा जाएगा साल का पहला प्रदोष व्रत, बन रहे हैं ये शुभ संयोग

डेस्क |

हिंदू धर्म में प्रदोष व्रत को सबसे खास माना जाता है. प्रदोष व्रत में भगवान शिव की पूजा का विधान बताया गया है. ऐसी मान्यता है कि जो कोई भी व्यक्ति भी सच्चे मन से प्रदोष व्रत रखता है. भगवान शिव उस व्यक्ति की सभी मनोकामना को पूरा करते हैं.

उसके सभी दुख और पाप भी दूर करते हैं. साल 2023 का पहला प्रदोष व्रत पौष महीने की शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी तिथि 04 जनवरी को पड़ रहा है. यह बुध प्रदोष व्रत है.

हिंदू पंचाग के मुताबिक, इस याल यानी 2023 का पहला प्रदोष व्रत पौष महीने की त्रयोदशी तिथि को रखा जाएगा. इसकी शुरुआत 03 जनवरी को रात 10 बजकर 01 मिनट पर होगी और इसका समापन 04 जनवरी को रात 11 बजकर 50 मिनट पर होगा. प्रदोष पूजा व्रत के आधार पर बुध प्रदोष व्रत 04 जनवरी 2023 को रखा जाएगा. बुध प्रदोष व्रत का पूजा मुहूर्त शाम 05 बजकर 37 मिनट से लेकर 08 बजकर 21 मिनट तक होगा.

इस दिन अभिजीत मुहूर्त दोपहर 12 बजकर 13 मिनट से लेकर दोपहर 12 बजकर 57 मिनट तक है. साथ ही सर्वार्थ सिद्धि योग पूरे दिन रहेगा. रवि योग शाम 06 बजकर 49 मिनट से लेकर अगले दिन 05 जनवरी को सुबह 07 बजकर 13 मिनट पर इसका समापन होगा. हर माह में दो प्रदोष व्रत आते हैं- पहला कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी और दूसरा शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी.

प्रदोष व्रत के दिन सूर्योदय से पहले उठकर स्नानादि करें और साफ वस्त्र धारण करें. उसके बाद बेलपत्र, अक्षत, दीप, धूप, गंगाजल आदि से भगवान शिव का पूजन करें. इस व्रत में भोजन ग्रहण नहीं किया जाता है. पूरे दिन का उपवास रखने के बाद सूर्यास्त से कुछ देर पहले दोबारा स्नान कर लें और सफेद रंग का वस्त्र धारण करें.

फिर स्वच्छ जल या गंगा जल से पूजा स्थल को शुद्ध कर लें. अब गाय का गोबर लें और उसकी मदद से मंडप तैयार कर लें. पांच अलग-अलग रंगों की मदद से आप मंडप में रंगोली बना लें. पूजा की सारी तैयारी करने के बाद उतर-पूर्व दिशा में मुंह करके कुशा के आसन पर बैठ जाएं. भगवान शिव के मंत्र ऊं नम: शिवाय का जाप करें और शिव को जल चढ़ाएं.

1. इस दिन काले कपड़े धारण ना करें.
2. इस दिन भूलकर भी शिवलिंग को ना छुएं.
3. बुध प्रदोष व्रत के दिन किसी का भी अपमान ना करें.
4. इस दिन शिवलिंग पर हल्दी अर्पित ना करें.
5. बुध प्रदोष व्रत के दिन तामसिक भोजन, मांस, शराब इत्यादि का भूल से भी सेवन ना करें.
6. बुध प्रदोष व्रत के दिन किसी को भी गुस्सा ना दिखाएं या किसी पर क्रोध ना करें और साथ ही किसी तरह की लड़ाई में भी ना पड़े.