<p>केसरी, वो रंग जो बहादुरी का प्रतीक है। अक्षय कुमार स्टारर मूवी में शानदार तरीके से 36 सिख रेजीमेंट के 21 सिख सैनिकों के पराक्रम और बलिदान को दिखाया गया है। 1897 में हुई सारागढ़ी बैटल इतिहास की सबसे बहादुर लड़ाइयों में गिनी जाती है। 21 सैनिकों का पराक्रम ऐसा था कि अंग्रेजी हुकूमत और अफगानी भी हक्के-बक्के रह गए। केसरी के डायरेक्टर अनुराग सिंह ने इस मूवी से बॉलीवुड में अपनी पारी शुरू की है। तो चलिए जानते हैं कैसी है अक्षय कुमार की वॉर एक्शन फिल्म केसरी।</p>
<p><span style=”color:#c0392b”><strong>कहानी</strong></span></p>
<p>बात 19वीं सदी की है, जब अफगानी किसी भी तरह से भारतीय सरजमीं पर अपनी बाहशाहत कायम करना चाहते थे। तब भारत ब्रिटिशों के अधीन था। अफगानियों और ब्रिटिश हुकूमत के बीच जंग होती रहती थी। सितंबर 1897 में अफगानियों ने प्लान बनाया कि वो सारागढ़ी (जो कि अब पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा में है) के रास्ते भारत पर हमला करेंगे। 1 ही दिन में सारागढ़ी किला फिर उसके बाद गुलिस्तान किला और अंत में लोकहार्ट किले पर फतह करेंगे। लेकिन गुलिस्तान किले में तैनात 21 सिख सैनिकों ने अफगानियों को करारी टक्कर दी। गुलिस्तान किले में हवलदार इशर सिंह (अक्षय कुमार) के नेतृत्व में कैसे 21 सैनिकों ने अफगानियों से लोहा मांगा, ये देखने के लिए आपको फिल्म देखनी होगी।</p>
<p><span style=”color:#c0392b”><strong>एक्टिंग</strong></span></p>
<p>अक्षय कुमार उन एक्टर्स में शुमार हैं जो हर रोल में फिट हो जाते हैं। केसरी में अक्षय कुमार ने एक बार फिर अपनी एक्टिंग का लोहा मनवाया है। सिख सैनिक के रोल में उन्होंने शानदार काम किया है। चाहे वो कॉमिक सीन हो, इमोशनल हो या एक्शन, अक्षय हर फ्रेम में जमे हैं। क्लाइमेक्स के एक्शन सीन्स में अक्षय कुमार ने जिस तरह से सैकड़ों अफगानियों को पटखनी दी है, वो काबिल-ए तारीफ है। ऐसा लगा मानो वो रोल कर नहीं रहे उसे जी रहे हों। परिणीति चोपड़ा के सीन्स बेहद कम हैं। वे सिर्फ अक्षय कुमार के ख्यालों में आती-जाती रही हैं। फिल्म के बाकी कलाकारों ने भी अच्छा काम किया है।</p>
<p><span style=”color:#c0392b”><strong>क्यों देखें</strong></span></p>
<p>केसरी को देखे जाने की कई वजह मूवी का कंटेंट सबसे ठोस है। भारत में इतिहास के पन्नों में कहीं दफन सारागढ़ी की लड़ाई के बारे में जानने के लिए इस फिल्म से बेहतर और कुछ नहीं। केसरी कई मौकों पर हंसाती है, रुलाती है और फक्र भी महसूस कराती है। केसरी कंप्लीट एंटरटेनर फिल्म है। ये फिल्म भारतीय खासतौर पर सिख होने पर गर्व कराती है। बैकग्राउंड स्कोर समेत फिल्म के गाने कनेक्ट करने में कामयाब हुए हैं। आखिरी सॉन्ग तेरी मिट्टी इमोशनल करता है। क्लाइमेक्स के फाइट सीन्स रौंगटे खड़े करते हैं। अनुराग सिंह ने कमाल का डायरेक्शन किया है। उन्होंने कहीं भी कहानी को भटकने नहीं दिया। मूवी स्टार्ट टू फिनिश बांधे रखती है। लोकेशन सूट कमाल का है। कुल मिलाकर केसरी पॉवरफुल फिल्म है जिसे जरूर देखना चाहिए।</p>
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