वीरभद्र सरकार के विधायकों को 5 बीघा जमीन देने के फैसले के खिलाफ बीजेपी नेताओं ने आवाज बुलंद कर दी है। इस मामले में बीजेपी-कांग्रेस नेता आमने-सामने आ गए हैं। लेकिन, इस सियासत के बीच में आम आदमी के मुद्दे दबते नज़र आ रहे हैं।
बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष सतपाल सत्ती ने दावा करते हुए कहा कि इस बार विधानसभा चुनावों में बीजेपी जीत हासिल करेगी और इस सारे मामले को रिव्यू कर जनता के हित में फैसला लेगी। विधायकों को जमीन देने के प्रदेश सरकार के फैसले का उन्होंने विरोध किया है।
वहीं, शायद कुछ बीजेपी नेताओं में इस बात रंज़ हैं कि पहले जो प्लॉट्स दिए गए, वो सारे कांग्रेस नेताओं को मिले हैं और उन्हें कुछ नहीं मिला है। जब इस बारे में बीजेपी विधायक सुरेश भारद्वाज और अनिल धीमान से बात हुई तो इन्होंने कहा कि 28 प्लॉट्स पहले भी दिए गए थे, लेकिन वो कांग्रेस ने सिर्फ अपने ही नेताओं को दिए थे। सुरेश भारद्वाज ने कहा कि 1998 में जब प्लॉट्स आबंटन सोसाइटी बनी थी, उस समय उन्होंने अप्लाई किया था, लेकिन आज तक उनको प्लॉट नहीं दिया मिला।
भोरंज से बीजेपी विधायक अनिल धीमान ने कहा कि वह पूर्व मुख्यमंत्री प्रेम कुमार की बात के साथ सहमत हैं कि प्रदेश के भूमिहीन लोगों को विधायकों की बजाय जमीन की ज्यादा जरूरत है। सरकार को उन भूमिहीन लोगों की तरफ ध्यान देना चाहिए, विधायकों को जमीन की जरूरत नहीं है।