शिमला जिला परिषद की बैठक में शुक्रवार को कोटखाई मामला जबरदस्त तरीके से गूंजा। बैठक में पार्षदों ने खासकर प्रदेश की बिगड़ती कानून व्यवस्था पर सवाल उठाए। पार्षद नीलम सैरेक ने कहा कि गुड़िया मामले में जो भी लीपापोती हुई है उसकी भी सीबीआई जांच होनी चाहिए और SIT सदस्यों सहिता पुलिस प्रमुख को पद से निलंबित किया जाना चाहिए।
पुलिस प्रशासन पर सवाल खड़े करते हुए पार्षद ने कहा कि डीसी शिमाल 16 दिन बाद मौके पर गए थे, यदि वह समय रहते मामले में जांच करते तो आज जनता सड़कों पर नहीं आती। थाने में आग लगाने पर पुलिस जनता पर कार्रवाई की बात करती है लेकिन उन्हें अपनी लापरवाही और नाकामी नहीं दिखती। इन सवालों पर पुलिस प्रशासन के मुंह पर ताला लग जाता है।
इसके अलावा जिला परिषद अधीक्षक ने भी गुड़िया मामले की निंदा की और कहा कि अब मामले की जांच सीबीआई कर रही है। इसलिए जो सच होगा सामने आएगा। बाद में यह तय हुआ कि जिला परिषद की बैठक के बात विशेष सत्र में गुड़िया मामले पर चर्चा होगी।
गौरतलब है कि इससे पहले गुरुवार को जिला परिषद की बैठक हुई थी। उस बैठक में पानी की समस्या जैसी कई समस्याओं पर चर्चा हुई लेकिन कोई हल नहीं निकल पाया। अब देखना यह होगा कि आज कि जिला परिषद बैठक में क्या फैसला लिया जाता है।