क्षेत्रीय अस्पताल धर्मशाला में एक मानवता को शर्मसार करने वाला मामला सामने आया है। यहां एक दंपती अपने 14 साल के बेटे के शव को जयसिंहपुर ले जाने के लिए रोते बिलखते हुए शव वाहन या एंबुलेंस तलाशता रहा, लेकिन न तो उन्हें एंबुलेंस मिली और न शव वाहन या कोई सहारा। बता दें कि दोपहर डेढ़ से दो बजे क्षेत्रीय चिकित्सालय धर्मशाला में बेटे की मौत हो गई थी और हर किसी के आगे शव वाहन और एंबुलेंस के लिए हाथ फैलाए। लेकिन किसी ने कोई साथ नहीं दिया।
लेकिन जब यह सूचना समाजसेवी संजय शर्मा तक पहुंची तो वह खुद अस्पताल पहुंचे और एक निजी वाहन में शव भिजवाने की व्यवस्था की। लेकिन इस वाहन की व्यवस्था संजय शर्मा के प्रयासों से आठ बजे रात को हो सकी। इससे पहले न तो क्षेत्रीय चिकित्सालय का कोई स्टाफ मदद को आगे आया न अन्य लोगों ने इन आंसुओं की कीमत समझी।
बताया जा रहा है जयसिंहपुर में लंबे समय से लेबर का काम कर रहे झारखंड निवासी रमेश कुमार और उसकी पत्नी गंधोरी देवी का 14 साल के बेटे साहिल का निधन हो गया, जबकि उन्होंने एक बेटी गोद ले रखी है। यह परिवार झारखंड के गुमला, पुलिस थाना बसिया गांव बाटालोया के निवासी हैं और कई वर्षों से जयसिंहपुर में ही रह रहे हैं। परिवार राजी खुशी यहां काम कर रह रहा था। लेकिन बीते वर्ष बेटे साहिल को निमोनिया का अटैक आया और वह बीमार हो गया। उसका उपचार चला फिर ठीक हो गया। बीच बीच में बीमार होता रहा पर दवा देकर ठीक भी होता रहा। ऐसे में कुछ दिन टांडा मेडिकल कॉलेज अस्पताल में भी उपचार करवाया। गरीब परिवार को बेटे के उपचार को लेकर होने वाले खर्च की भी परेशानी आ रही थी। ऐसे में टांडा में भी डॉक्टरों ने बेटे को चंडीगढ़ ले जाने की भी सलाह दी थी। जब बेटे की तबीयत कुछ बिगड़ी और पांव में सोजिश बढ़ने के कारण स्वजन बेटे को लेकर क्षेत्रीय चिकित्सालय ले आए।
दंपती करीब सात आठ दिन से अस्पतालों के चक्कर काट रहा था। यहां पर बेटे की डेढ़ दो बजे के करीब मौत हो गई। मृतक साहिर की माता गंधोरी देवी और पिता रमेश बेटे के शव को स्ट्रेचर पर रखकर यहां से वहां ले जाते रहे, पर वहां पर किसी ने उनकी मदद शव वाहन और एंबुलेंस के लिए नहीं की। हर किसी के आगे रोकर एंबुलेंस के लिए कह रही मां को न एंबुलेस मिली और न शव वाहन। एक तरफ जहां दुखों का पहाड़ टूट पड़ा था, वहीं परिवार के सारे हौसले और हिम्मत जवाब दे गई थी। ऐसे में मानवीय संवेदनाएं भी यहां तार तार हो गईं। जब कोई मदद को आगे नहीं आया, तब बात समाजसेवी संजय शर्मा तक पहुंची तो वह तुरंत अस्पताल पहुंचे और एक निजी वाहन उन्हें उपलब्ध करवाया।
Post-Monsoon Drought Himachal: हिमाचल प्रदेश में पिछले दो महीनों से बारिश न होने के…
Daily Horoscope November 25: सोमवार का दिन कई राशियों के लिए महत्वपूर्ण बदलाव और नई…
Bareilly GPS Navigation Acciden: बरेली में एक दर्दनाक सड़क हादसे में तीन लोगों की मौत…
NCC Raising Day Blood Donation Camp: एनसीसी एयर विंग और आर्मी विंग ने रविवार को…
Sundernagar Polytechnic Alumni Meet: मंडी जिले के सुंदरनगर स्थित राजकीय बहुतकनीकी संस्थान में रविवार को…
Himachal Cooperative Sector Development: मंडी जिले के तरोट गांव में आयोजित हिमाचल प्रदेश राज्य सहकारी…